सांसद के आदेश को ठेंगा, लिखी जातीं बाहर की दवाएं
डाक्टरों समेत अन्य स्टाफ की कमी झेल रहे जिला
जागरण संवाददाता, महोबा : डॉक्टरों समेत अन्य स्टाफ की कमी झेल रहे जिला अस्पताल के डॉक्टर मनमानी पर उतारू हैं। डीएम व सांसद की सख्त हिदायत के बाद भी यहां के डाक्टर बाहर की दवाएं लिख रहे हैं।
जिला अस्पताल में प्रतिदिन एक हजार से 1200 मरीज आते हैं। सात फरवरी को सांसद कुंवर पुष्पेंद्र सिंह चंदेल से तीमारदार ने बाहर की दवाएं लिखने की शिकायत की थी। जिस पर सांसद ने प्रभारी सीएमएस डॉ. आरपी मिश्रा को कार्रवाई करने के निर्देश दिए थे। सांसद ने कहा था कि गरीब मरीजों के लिए अस्पताल के रोगी कल्याण निधि से दवा दी जाए। डीएम ने भी कई बार निरीक्षण किया तो उनके सामने भी बाहर की दवा का मुद्दा आया है। इतनी सख्त हिदायत के बाद भी बाहरी दवाएं लिखी जा रही हैं। स्थिति यह है कि एक मरीज को 200 से 700 रुपये की दवा बाहर की लिखी जा रही हैं। केस-1
ग्राम बिलखी निवासी गोविद के 10 वर्षीय पुत्र अभिषेक को दो दिन पहले कुत्ते ने काट लिया था। गुरुवार को वह बेटे को दिखाने के लिए जिला अस्पताल आया। जहां पर डाक्टर ने उसे बाहर से दवा लिख दी उसे 126 रुपये की दवा खरीदी। केस-2
पवा मुरानी निवासी शांति के पेट में दर्द होने पर उसका पति रमेश उसे गुरुवार को जिला अस्पताल लेकर आया। डाक्टर को दिखाया तो उसने बाहर की दवा लिखी जो 234 रुपये की आई। रमेश ने बताया कि उसे जानकारी नहीं है कि जिला अस्प्ताल में इलाज फ्री होता है। जिला अस्पताल में तैनात सभी डाक्टरों को निर्देशित किया गया है कि कोई भी बाहर की दवाएं नहीं लिखेगा। सस्ते दामों में मरीजो को दवा उपलब्ध कराने के लिए जिला अस्पताल परिसर में जन औषधि केंद्र भी खुला है। यदि फिर भी किसी डॉक्टर ने बाहर की दवा लिखी है तो कार्रवाई अमल में लाई जाएगी।
- डॉ. आरपी मिश्रा, प्रभारी सीएमएस