Coronavirus Lockdown : यहां महिलाओं ने संभाली मास्क बनाने की जिम्मेदारी Siddharthnagar News
Coronavirus Lockdown यूपी के सिद्धार्थनगर में महिला मास्क व सैनिटाइजर बनाना शुरू किया है। सैनिटाइजर व मास्क सस्ते दर पर उपलब्ध कराया जा रहा है।
सिद्धार्थनगर, प्रशांत सिंह। कोरोना से बचाव की जंग में महिमा ज्योति स्वयं सहायता समूह ने पहले चरण में कर्मचारी व अधिकारियों के भोजन की व्यवस्था की। अब मास्क व सैनिटाइजर बनाना शुरू किया है। प्रशासन ने इनके लिए मशीन की व्यवस्था कर दी है। तैयार सैनिटाइजर व मास्क आमजन को प्रशासन ने सस्ते दर पर उपलब्ध कराना शुरू कर दिया है। एक दिन में 200 मास्क तैयार हो रहे हैं।
समूह की महिलाओं की कर्मठता को देख प्रशासन ने हाथ बढ़ाया है। पहले रसोईघर खोलने के लिए 15 हजार रुपये की धनराशि दी थी। जब घरों में आपूर्ति होने लगी तो समूह की सदस्यों ने मास्क बनाने की पहल की। प्रशासन ने इनके जज्बे को देखा और दूसरी किस्त जारी करने की कवायद शुरू कर दी। 30 मार्च को समूह के खाता में 1.10 लाख रुपये भेज दिए। इसके बाद इनके अरमानों को पंख लग गए और इन्होंने मिल कर कोरोना से बचाव की जंग शुरू कर दी। अब विभाग इनका बैंक से सीसीएल (कैश क्रेडिट लिमिट) बनाने की तैयारी में है। बैंक ने भी लाकडाउन समाप्त होने के बाद कार्रवाई करने का आश्वासन दिया है।
ऐसे तैयार हो रहा सैनिटाइजर
स्वयं सहायता समूह की सदस्य प्रतिदिन 75 से 100 शीशी सैनिटाइजर तैयार कर रही हैं। इस काम में चार सदस्य लगी है। एक छोटी मिक्सर मशीन लगाया गया है। इसमें एथनाल (आइसो प्रोफाइल अल्कोहल), एल्वेरा (घृतकुमारी), ग्लीसरीन, कपूर, नीम की पत्ती रस, थोड़ा नींबू रस, आरओ मशीन का पानी, सुगंध के लिए गुलाब जल व इत्र का प्रयोग मानक के अनुरूप किया जाता है। 100 एमएल सैनिटाइजर की बोतल 50 रुपये में उपलब्ध है। चार सदस्य मास्क बना रही हैं। यह 20 रुपये में बिक रहा है। वहीं अन्य ब्रांड के मास्क दो से तीन सौ रुपये तक में मिल रहे हैं।
स्वयं सहायता समूह की महिलाओं ने मास्क व सैनिटाइजर का निर्माण शुरू कर दिया है। इनके उत्पाद को बाजार में उपलब्ध कराया जा रहा है। कई अन्य स्वयं सहायता समूह ने कोरोना से बचाव के लिए पीपीई किट बनाने का प्रस्ताव भेजा है। जल्द ही इसका भी निर्माण कराया जाएगा। - शेषमणि सिंह, जिला विकास अधिकारी।
बिटिया के जज्बे को हर कोई कर सलाम
सिद्धार्थनगर की कक्षा तीन की छात्रा अफीफा तबस्सुम ने कोराना से जंग में अपना गुल्लक फोड़कर 1697 रुपये दान के रूप में दिए हैं। यह नजीर उसने एसडीएम के सामने पेश की। बेटी के इस जज्बे व सोच को एसडीएम ने भी सलाम किया। एसडीएम त्रिभुवन ने कहा कि बेटी ने समाज को नया संदेश देने का काम किया है। बच्ची की सोच से हर किसी को सीख लेनी चाहिए। अफीफा कहती हैं कि गुल्लक में पैसा रखकर कोई फायदा नहीं। अगर यह रकम कोरोना बचाव में काम आया तो अल्लाह की नजर में नेक काम है। हर किसी को ऐसा करना चाहिए जिससे कि कोरोना को हराया जा सके।
डुमरियागंज विधायक सहित सभी अधिकारी और समर्थवान व्यक्ति कोरोना बचाव के लिए फंड में स्वेच्छा से दान दे रहे हैं। इस बीच नगर पंचायत निवासी शफा इंटर कालेज में कक्षा तीन में पढ़ने वाली अफीफा तबस्सुम ने हर किसी के सामने नजीर प्रस्तुत किया। कोरोना बचाव में सहयोग देने के लिए उसने अपनी जमापूंजी जो गुल्लक में संचित थी तोड़ दिया। गिनने पर रुपये 1697 निकले। वह बेफिक्र होकर एसडीएम के आवास पर पहुंची और पूरी रकम कोरोना सहायतार्थ एसडीएम को सौंप दिया।