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Coronavirus: स्वेच्छा से होटलों में रह सकेंगे बिना लक्षण वाले कोरोना मरीज Gorakhpur News

Coronavirus गैर लक्षण वाले कोरोना के मरीज अपनी मर्जी व अपने खर्च पर होटलों में रह सकेंगे। प्रशासन की इसकी तैयारी कर रहा है।

By Pradeep SrivastavaEdited By: Published: Mon, 13 Jul 2020 02:24 PM (IST)Updated: Mon, 13 Jul 2020 03:03 PM (IST)
Coronavirus: स्वेच्छा से होटलों में रह सकेंगे बिना लक्षण वाले कोरोना मरीज Gorakhpur News
Coronavirus: स्वेच्छा से होटलों में रह सकेंगे बिना लक्षण वाले कोरोना मरीज Gorakhpur News

गोरखपुर, जेएनएन। जल्द ही बिना लक्षण वाले मरीजों को होटल में रुकने की सुविधा प्रशासन द्वारा दी जाएगी। जिला प्रशासन ने वर्क प्लान बनाकर शासन के पास मंजूरी के लिए भेजा है। अभी तक यह व्यवस्था लखनऊ में है। गैर लक्षण वाले कोरोना मरीजों को होटल में रहने का खर्च खुद वहन करना होगा। जिला प्रशासन की कुछ होटल संचालकों से बात भी हो चुकी है। पांच सौ से दो हजार रुपये तक रोजाना के हिसाब से कमरे उपलब्ध होंगे। इसमें नाश्ता और खाना भी शामिल होगा।

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किराया वहन करने में सक्षम मरीजों को होटल में रखने की तैयारी

दरअसल, मरीजों की लगातार बढ़ रही संख्या के कारण जिला प्रशासन ने यह फैसला लिया है। रेलवे अस्पताल में 200 बेड का आइसोलेशन वार्ड पूरी तरह पैक है। जिला प्रशासन ने 500 बेड के दो वार्ड स्पोट्र्स कॉलेज में तैयार कराए हैं। अब कोरोना के मरीज यहां भी भर्ती किए जाएंगे। जिला प्रशासन के मुताबिक ऐसे मरीज जो कोरोना संक्रमित तो निकल रहे हैं, लेकिन उनमें कोई खास लक्षण नहीं हैं, उनके लिए होटलों में रुकने की व्यवस्था की जाएगी।

स्वास्थ विभाग की टीम करेगी मॉनिटरिंग

होटलों में रहने वाले गैर लक्षण वाले मरीजों की स्वास्थ्य विभाग की टीम लगातार मॉनिटरिंग करती रहेगी। स्वास्थ्य विभाग द्वारा बताए मेन्यु के अनुसार मरीजों को खाना और नाश्ता दिया जाएगा। इसको लेकर तैयारी तेज हो गई है।

होटलों में गैर लक्षण वाले मरीजों को उनकी स्वेच्छा से रखने की तैयारी है। इस व्यवस्था को लागू करने के लिए शासन की मंजूरी आवश्यक है। इसके लिए पत्र भेजा गया है। मंजूरी मिलते ही इसे जिले में शुरू करा दिया जाएगा। - के. विजयेंद्र पांडियन, डीएम

पुलिस पर भारी पडऩे लगी कोरोना महामारी

पुलिस लाइंस से लेकर एसएसपी कैंप कार्यालय तक पहुंच चुके कोरोना वायरस के कैंट थाने में दस्तक देने से पुलिसकर्मियों की चिंता बढ़ गई है। डयूटी पर मुस्तैद रहते हुए संक्रमण से बचना उनके लिए चुनौती बन गई है। अब तक 21 पुलिसकर्मियों के संक्रमित होने से विभाग दहशत में है। पुलिस विभाग में संक्रमण की शुरुआत एडीजी कार्यालय से हुई थी। यहां शिकायत प्रकोष्ठ में तैनात इंस्पेक्टर सबसे पहले संक्रमित हुए थे। कार्यालय परिसर के हॉट स्पाट की अवधि खत्म भी नहीं हुई थी कि यहीं तैनात सीओ भी संक्रमित हो गए। इसके बाद पुलिस लाइंस में 11 प्रशिक्षु सिपाही और कैंट थाने के दारोगा समेत सात पुलिसकर्मियों की रिपोर्ट पॉजिटिव आ गई। एसएसपी आवास तथा डायल 112 में कार्यरत एक-एक पुलिसकर्मी संक्रमित मिल चुके हैं। रविवार को गोलघर में ड्यूटी पर तैनात सिपाही ने बताया कि खुद के संक्रमित होने का डर तो सता ही रहा है, उससे बड़ी चिंता इस बात की है कि यदि मैं संक्रमित हुआ तो परिवार के लोग भी चपेट में आ जाएंगे।

बदमाशों के विरुद्ध अभियान पर ब्रेक

कोरोना का संक्रमण बढऩे से बदमाशों की गिरफ्तारी के लिए चलाए जा रहे अभियान पर ब्रेक लग गया है। दरअसल कानपुर कांड के बाद तैयार हुई टॉप टेन और टॉप 100 बदमाशों की धरपकड़ के लिए चले अभियान के दौरान ही कई पुलिसकर्मी संक्रमित मिले हैं। इसको देखते हुए अभियान की रफ्तार धीमी कर दी गई है। पुलिसकर्मी अनजान जगहों पर दबिश देने से कतरा रहे हैं।

पुलिसकर्मियों के संक्रमित होने के चलते अतिरिक्त सावधानी बरती जा रही है। उन्हें खुद को संक्रमण से बचाते हुए डयूटी पर मुस्तैद रहने को कहा गया है। पुलिस अपनी पूरी क्षमता और मुस्तैदी के साथ ड्यूटी निभा रही है। - डा. सुनील गुप्त, एसएसपी 


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