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UP में प्रतिदिन होगी दस हजार कोरोना मरीजों की जांच, स्वास्थ्य मंत्री ने दी जानकारी

UP के के स्वास्थ्य मंत्री जय प्रताप सिंह ने कहा यूपी में प्रतिदिन दस हजार कोरोना मरीजों की जांच होगी।

By Pradeep SrivastavaEdited By: Published: Sun, 31 May 2020 01:15 PM (IST)Updated: Mon, 01 Jun 2020 09:55 AM (IST)
UP में प्रतिदिन होगी दस हजार कोरोना मरीजों की जांच, स्वास्थ्य मंत्री ने दी जानकारी
UP में प्रतिदिन होगी दस हजार कोरोना मरीजों की जांच, स्वास्थ्य मंत्री ने दी जानकारी

गोरखपुर, जेएनएन। प्रदेश के स्वास्थ्य मंत्री जय प्रताप सिंह ने कहा है कि प्रदेश सरकार कोरोना से निपटने के लिए पूरी तरह तैयार है। संक्रमित मरीजों के इलाज के लिए 78 हजार बेड की व्यवस्था की जा चुकी है। दो से तीन दिन में यह संख्या एक लाख से अधिक हो जाएगी। जांच व्यवस्था का दायरा भी काफी बढ़ा दिया गया है। फिलहाल प्रदेश में करीब सात हजार जांचें प्रतिदिन हो रहीं हैं। सप्ताह भीतर प्रतिदिन 10 हजार से अधिक जांच करने की तैयारी पूरी हो चुकी है।

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प्रदेश में 28 लैब में जांच का इंतजाम

स्वास्थ्य मंत्री गोरखपुर में पत्रकारों से बातचीत कर रहे थे। उन्होंने कहा कि चूंकि गोरखपुर में पूर्वांचल के सभी जिलों से आने वाले नमूनों की जांच हो रही है, इसलिए लगातार कार्य के बावजूद कुछ जांचों में देरी हो जा रही है। इसके लिए कोबॉस मशीन का ऑर्डर भी दे दिया गया है। इसके अलावा हर जिले में शासन की ओर से ट्रू नेट मशीन उपलब्ध कराई जा रही है। इससे प्राथमिक रूप से पॉजिटिव-निगेटिव की स्थिति का पता चल जाएगा। 55 मशीनों में से 11 मशीनें प्राप्त हो चुकी हैं। जब कोरोना की शुरुआत हुई तो केवल तीन स्थान पर जांच की व्यवस्था थी लेकिन इस समय प्रदेश में 28 लैब में जांच का इंतजाम है। सभी को स्थानीय स्तर पर कोरोना का इलाज मिल सके, इसके लिए प्राथमिक व सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र को भी तैयार किया जा रहा है। कोरोना से जंग में आरोग्य सेतु एप कारगर साबित हो रहा है। प्रदेश में अबतक 33 हजार कॉल आरोग्य सेतु एप से आए हैं, इनमें आठ कोरोना मामलों का पता चला है। स्वास्थ्य मंत्री ने तब्लीगी जमात का भी जिक्र किया और कहा कि जमात की वजह से शुरुआती दौर में तेजी से केस बढ़े।

अन्य प्रदेशों से बेहतर है उत्तर प्रदेश की स्थिति

स्वास्थ्य मंत्री ने कहा कि यदि प्रदेश में कोरोना के आंकड़ों की अन्य प्रदेशों के आंकड़ों से तुलना करें तो यहां काफी बेहतर स्थिति है। प्रदेश में शनिवार तक 7766 केस कोरोना के मिल चुके हैं। 204 मौतें हुई हैं। 4462 ठीक होकर घर जा चुके हैं। अबतक प्रदेश में 28 लाख प्रवासी  आ चुके हैं। सभी को क्वारंटाइन कराया गया है। मौत के बाद कोरोना जांच में देरी के चलते परिजनों को रही परेशानी के सवाल पर स्वास्थ्य मंत्री कहा कि ट्रूनेट मशीन की जांच में अगर मृतक में कोरोना की पुष्टि नहीं होती है तो परिजनों को शव तत्काल सौंप दिया जाएगा।

आरएमडी ने स्वास्थ्य सेवा में विशेषज्ञ कैडर बनाने की उठाई मांग

नगर विधायक डॉ. राधा मोहन दास अग्रवाल ने शनिवार को प्रदेश के स्वास्थ्य मंत्री जय प्रताप सिंह से प्रदेश की स्वास्थ्य सेवाओं को बेहतर बनाने के लिए विशेषज्ञ चिकित्सकों के लिए अलग कैडर बनाने की मांग की है। डॉ. अग्रवाल का कहना है कि इससे विशेषज्ञ डॉक्टर की रुचि प्रांतीय स्वास्थ्य सेवाओं में आने को लेकर बढ़ेगी।

सर्किट हाउस में स्वास्थ्य मंत्री से बात करते हुए डॉ. अग्रवाल ने कहा कि चिकित्सा में स्नातकोत्तर शिक्षा हासिल करने में तीन से पांच साल लगते हैं। ऐसे में जब वह स्नातकोत्तर चिकित्सक प्रांतीय सेवा में जाते हैं तो स्नातक चिकित्सकों से पांच से छह साल जूनियर हो जाते हैं। गैर विशेषज्ञ चिकित्सकों के नीचे कार्य करने में उन्हें दिक्कत आती है। इसके अलावा सरकार जिला अस्पतालों को मेडिकल कॉलेज में तब्दील कर रही है। अगर स्थाई विशेषज्ञ चिकित्सक नहीं होंगे तो पढ़ाई के स्तर में भी गिरावट आएगी। बातचीत में नगर विधायक ने स्वास्थ्य मंत्री से जिला अस्पताल में डायलिसिस बेड बढ़ाने की मांग भी की। उन्होंने बताया कि फिलहाल जिला अस्पताल में डायलिसिस के 10 ही बेड हैं, जिसके चलते मरीजों को लंबा इंतजार करना पड़ता है।  


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