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गजब : दो सरकारी कर्मियों को जारी हो गया एक ही पैन

दो सरकारी कर्मचारियों को एक ही पैन जारी होने से अजब स्थिति पैदा हो गई। आइटीआर दाखिल करते समय इसका खुलासा हुआ।

By Pradeep SrivastavaEdited By: Published: Wed, 26 Sep 2018 11:26 AM (IST)Updated: Wed, 26 Sep 2018 05:08 PM (IST)
गजब : दो सरकारी कर्मियों को जारी हो गया एक ही पैन
गजब : दो सरकारी कर्मियों को जारी हो गया एक ही पैन

गोरखपुर, (जेएनएन)।  एक पैन (परमानेंट अकाउंट नंबर) एक व्यक्ति को ही जारी हो सकता है लेकिन एक ऐसा मामला सामने आया है जिसमें दो सरकारी कर्मियों को एक ही पैन जारी हो गया और नौ सालों तक दोनों उसका इस्तेमाल भी करते रहे। आइटीआर दाखिले के दौरान मामला प्रकाश में आया तो संबंधित विभाग के साथ आयकर व एनएसडीएल (पैन जारी करने वाले) को सूचना दी गई। आयकर विभाग अब गलती सुधारने में जुटा हुआ है।

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बेसिक शिक्षा विभाग में कई ऐसे मामले आए हैं, जिसमें दूसरे के नाम पर नौकरी करने वालों का राजफाश हुआ है। इनमें से कई लोगों के पास एक ही पैन था और उसी पर उन्हें वेतन मिल रहा था। आइटीआर दाखिल करने के दौरान जब असली व्यक्तियों को अपने पैन पर वेतन निकलने की जानकारी हुई तो इसकी शिकायत संबंधित विभागों में की गई। इन मामलों में शिक्षा विभाग ने नोटिस जारी कर पक्ष रखने को कहा तो फर्जी नौकरी करने वाले अचानक गायब हो गए।

एक मामले में दोनों पक्ष निकले सही

एक ऐसा मामला भी सामने आया है, जिसमें एक पैन दो लोगों को जारी हुआ। ये दोनों पैन सही भी हैं। दोनों व्यक्तियों का नाम, पिता का नाम व जन्मतिथि समान है। अमृतेश नाम के एक कर्मचारी रांची में केंद्रीय उत्पाद शुल्क विभाग में निरीक्षक हैं और इसी नाम से जनपद के ब्रह्मपुर ब्लॉक में एक शिक्षक भी कार्यरत हैं। दोनों का पैन कार्ड का नंबर एक ही है। जांच में दोनों की सत्यता की पहचान हो चुकी है। रांची में कार्यरत सरकारी कर्मचारी का पैन सन् 2008 में जबकि शिक्षक अमृतेश का पैन 2009 में जारी हुआ है। गोरखपुर में कार्यरत अमृतेश ने भी आयकर व एनएसडीएल को सूचना दे दी है।

आवेदन के बाद घर पर आया था पैन कार्ड

शिक्षक अमृतेश ने बताया कि उन्होंने 2009 में पैन कार्ड के लिए आवेदन किया था और कुछ दिनों बाद उनके घर कोरियर से पैन कार्ड पहुंच गया था। उसी का विवरण उन्होंने विभाग में भी दिया था।

आश्चर्यजनक होती है ऐसी चूक

एक पैन दो लोगों को जारी होने का मामला न के बराबर सामने आता है। वरिष्ठ आयकर अधिवक्ता अनिल पांडेय का कहना है कि नाम, पिता का नाम व जन्मतिथि एक होने की दशा में कभी ऐसा हो भी सकता है। दोनों पैन कार्ड एक साल के अंतराल पर जारी हुए हैं। एक ही नाम, पिता का नाम व जन्मतिथि होने पर डुप्लीकेट पैन जनरेट हो गया होगा। ऐसा होने पर संबंधित क्षेत्र के आयकर कार्यालय व एनएसडीएल को इसकी जानकारी देनी चाहिए।

निरस्त होगा बाद में जारी हुआ पैन

आयकर विभाग की ओर से दोनों पक्षों के साथ उनके विभागों को एक पत्र जारी होगा, जिसका पैन बाद में जारी हुआ होगा। उसे निरस्त कर नया पैन जारी किया जाएगा। जिसका पैन पहले जारी होगा, वह मान्य रहेगा। 

दो लोगों को जारी नहीं हो सकता एक पैन

आयकर आयुक्‍त नित्यानंद ठाकुर ने कहा कि एक व्यक्ति को एक ही पैन जारी होता है। दो लोगों को एक ही पैन नहीं जारी हो सकता।


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