Top Gorakhpur News Of The Day, 30 September 2019 : यूपी के शिक्षा मंत्री ने कहा, 25 फीसद शिक्षकों को नहीं पता किस गांव में है उनका स्कूल
Top Gorakhpur News of the Day 30 September 2019 30 September 2019 सोमवार की गोरखपुर की टॉप खबरें। ताजातरीन खबरों के लिए बने रहिए हमारे साथ।
गोरखपुर, जेएनएन। गोरखपुर और गोरखपुर के आसपास के जिलों की 30 September 2019 की प्रमुख खबरों में यूपी के शिक्षा मंत्री ने कहा, 25 फीसद शिक्षकों को नहीं पता किस गांव में है उनका स्कूल खबर चर्चा में रही। इसके अलावा सीएम योगी आदित्यनाथ ने कलश स्थापित कर शुरू की आदिशक्ति की आराधना, परम्परा निभाने के लिए अपने आवास से नहीं निकले सीएम योगी आदित्यनाथ, नौ दिन ब्रत रहेंगे, यूपी की इस जेल में बह रही भक्ति की बयार, मुस्लिम बंदी भी हैं नवरात्र का व्रत, एक ऐसा मंदिर जहां अंग्रेजों का सिर काटकर चढ़ाते थे क्रांतिकारी, अब लगता है यहां मेला, बड़े काम का है यह पौधा ; उच्च रक्तचाप, हिस्टीरिया तक का इससे होता है इलाज, अब नेपाल नहीं जा पाएगा भारत का प्याज, सरकार ने लगाई रोक, महत्तर सम्मान से नवाजे गए प्रो. विश्वनाथ तिवारी, डा. सर्वपल्ली राधाकृष्णनन को भी मिल चुका है यह सम्मान खबर भी चर्चा में रही।
यूपी के शिक्षा मंत्री ने कहा, 25 फीसद शिक्षकों को नहीं पता किस गांव में है उनका स्कूल
गोरखपुर। यूपी के बेसिक शिक्षा राज्यमंत्री डॉ. सतीश चंद्र द्विवेदी ने कहा कि 25 फीसद शिक्षक अपनी जगह दूसरों को स्कूल भेज रहे हैं। इनको यह भी नहीं पता कि उनका स्कूल किस गांव में है और वहां तक पहुंचने का रास्ता क्या है। बच्चों को अपने टीचर का नाम ही नहीं पता है। हम टीचरों को 50 हजार रुपये तनख्वाह दिल्ली में कमरा लेकर तैयारी करने के लिए नहीं दे रहे हैं।
सीएम योगी आदित्यनाथ ने कलश स्थापित कर शुरू की आदिशक्ति की आराधना
गोरखपुर, जेएनएन। शारदीय नवरात्र की प्रतिपदा को गोरखनाथ मंदिर में भी पारंपरिक नवरात्र पूजा की शुरुआत हुई। पूजा के लिए यहां पहुंचे मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने बतौर गोरक्षपीठाधीश्वर पूरे विधि-विधान से शक्ति पीठ में कलश स्थापना की। करीब दो घंटे चली आनुष्ठानिक पूजा आरती और क्षमा प्रार्थना के साथ संपन्न हुई।
परम्परा निभाने के लिए अपने आवास से नहीं निकले सीएम योगी आदित्यनाथ, नौ दिन ब्रत रहेंगे
गोरखपुर। नवरात्रि के पहले दिन रविवार की शाम गोरखनाथ मंदिर के शक्तिपीठ में कलश स्थापना करने के बाद परंपरा निभाने के क्रम में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ सोमवार की सुबह तक अपने आवास से नहीं निकले। मंदिर प्रबंधन के मुताबिक दोपहर बाद 2:00 बजे के करीब लखनऊ रवाना होने तक मुख्यमंत्री अपने आवास में ही रहेंगे। मुख्यमंत्री नौ दिन तक ब्रत रहेंगे।
यूपी की इस जेल में बह रही भक्ति की बयार, मुस्लिम बंदी भी हैं नवरात्र का व्रत
गोरखपुर। गाेरखपुर जिला जेल में भक्ति की बयार बह रही है। नवरात्र के पहले दिन 50 महिलाओं समेत 850 बंदियों ने व्रत रखा। बंदियों ने अपने-अपने बैरकों में भजन-कीर्तन किया। जेल प्रशासन की ओर से व्रत रखने वाले बंदियों के लिए दूध के साथ ही सुबह व शाम फलाहार की व्यवस्था की गई है। जेल में बंद कुछ मुस्लिम बंदी भी नवरात्र का ब्रत रह रहे हैं।
एक ऐसा मंदिर जहां अंग्रेजों का सिर काटकर चढ़ाते थे क्रांतिकारी, अब लगता है यहां मेला
गोरखपुर। मां तरकुलहा देवी मंदिर के दरबार में जाने के लिए हर समय साधन मौजूद हैं। गोरखपुर जिला मुख्यालय से लगभग 22 किलोमीटर देवरिया रोड पर फुटहवा इनार के पास मंदिर मार्ग का मुख्य गेट है। वहां से लगभग डेढ़ किमी पैदल, निजी वाहन या आटो से चलकर मंदिर पहुंचा जा सकता है।
बड़े काम का है यह पौधा ; उच्च रक्तचाप, हिस्टीरिया तक का इससे होता है इलाज
गोरखपुर। औषधीय गुणों से युक्त पौधों में सर्पगंधा का नाम प्रमुखता से लिया जाता है। इसका वानस्पतिक नाम रावोल्फिया सर्पेंटीना है। यह पुष्पीय पौधों के द्विबीजपत्रीय कुल एपोसाइनेसी का सदस्य है। अंग्रेजी में इसे सर्पेंटीन तथा स्नेक रूट नामों से जाना जाता है।
अब नेपाल नहीं जा पाएगा भारत का प्याज, सरकार ने लगाई रोक
गोरखपुर। भारत सरकार ने प्याज के नेपाल निर्यात पर रोक लगा दी है। भारत-नेपाल सीमा के सभी मुख्य नाकों के कस्टम कार्यालयों पर सरकार का प्रतिबंध संबंधित निर्देश आ गया हैं। सोनौली के कस्टम कार्यालय पर भारत सरकार के आए निर्देश के मुताबिक अब भारतीय प्याज नेपाल नहीं जाएगा। माना जा रहा है कि भारत सरकार ने यह कदम प्याज की बढ़ती कीमतों पर अंकुश लगाने के लिए उठाया हैं। कस्टम उपायुक्त शशांक यादव का कहना है कि प्याज के नेपाल निर्यात पर रोक लगाने का निर्देश मिला हैं।
महत्तर सम्मान से नवाजे गए प्रो. विश्वनाथ तिवारी, डा. सर्वपल्ली राधाकृष्णनन को भी मिल चुका है यह सम्मान
गोरखपुर। साहित्य अकादमी के पूर्व अध्यक्ष व दस्तावेज के संपादक प्रो. विश्वनाथ प्रसाद तिवारी को अकादमी के सर्वोच्च महत्तर सदस्यता सम्मान से सम्मानित किया गया। यह सम्मान दीनदयाल उपाध्याय गोरखपुर विश्वविद्यालय के संवाद भवन में आयोजित समारोह में अकादमी के अध्यक्ष चंद्रशेखर कंबार, उपाध्यक्ष माधव कौशिक व सचिव के.श्रीनिवासराव ने परामर्श मंडल के सदस्यों की उपस्थिति में प्रदान किया।