गोरखपुर जेल में बंद थाई महिला 11 साल बाद छूटी, जानें- क्यों जाना पड़ा था जेल
एनडीपीएस एक्ट में जेल भेजी गई थाईलैंड की महिला ख्वानरू थाई 11 साल की सजा काटकर रिहा हो गई। उसे जिला कारागार से छोड़ा गया।
गोरखपुर, जेएनएन। एनडीपीएस एक्ट में जेल भेजी गई थाईलैंड की महिला ख्वानरू थाई 11 साल की सजा काटकर रिहा हो गई। उसे जिला कारागार से छोड़ा गया। जेल से बाहर निकलते ही एलआइयू के अधिकारियों ने ख्वानरू को हिरासत में ले लिया। उसे महिला थाने में रखा गया है। पासपोर्ट बनने के बाद थाईलैंड दूतावास को सुपुर्द किया जाएगा।
वर्ष 2008 में थाईलैंड की रहने वाली ख्वानरू थाई को नशीले पदार्थ के साथ कैंट पुलिस ने रेलवे स्टेशन परिसर से गिरफ्तार कर एनडीपीएस एक्ट में जेल भेजा था। वर्ष 2012 में ख्वानरू थाई कोर्ट ने 12 साल कैद और दो लाख रुपये अर्थदंड की सजा सुनाई। ख्वानरू थाई के अधिवक्ता ने हाईकोर्ट में अपील की और सजा को कम करने की गुजारिश की। हाईकोर्ट ने ख्वानरू थाई की सजा 12 साल को घटाकर दस साल कर दी। अर्थदंड को भी कम करते हुए दो लाख की जगह एक लाख रुपये कर दिया गया। अर्थदंड की रकम जमा न कर पाने की वजह से ख्वानरू को जेल में एक साल और गुजारना पड़ा। वरिष्ठ जेल अधीक्षक डॉक्टर रामधनी ने बताया कि कोर्ट से मिली सजा पूरी होने के बाद सोमवार को ख्वानरू को रिहा कर दिया गया।
घर ले जाने आए हैं मां और बहन
22 अप्रैल को ख्वानरू के रिहा की सूचना जेल प्रशासन ने दूतावास के जरिये उसके घरवालों को दी थी। रविवार को ख्वानरू की मां और बहन गोरखपुर पहुंच गए थे। रिहाई की आस में मां और बहन सुबह 10 बजे ही जेल पहुंच गए थे। दोपहर बाद रिहाई होने पर उसके साथ महिला थाने गए। सीओ एलआइयू जगदीश सिंह ने बताया कि ख्वानरू थाई के रिहा होने की जानकारी थाईलैंड के दूतावास को दे दी गई है। पासपोर्ट बनने के बाद उसे दूतावास को सुपुर्द कर दिया जाएगा।