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पूर्वाचल बैंक में हड़ताल, दूसरे दिन भी निराश लौटे ग्राहक

ओवरटाइम डयूटी की भुगतान करने समेत तमाम मांगों के समर्थन में पूर्वाचल बैंक यूनियन ने हड़ताल कर दी है। इससे करोड़ो के कारोबार प्रभावित हुए हैं।

By JagranEdited By: Published: Wed, 14 Aug 2019 06:30 PM (IST)Updated: Thu, 15 Aug 2019 06:29 AM (IST)
पूर्वाचल बैंक में हड़ताल, दूसरे दिन भी निराश लौटे ग्राहक
पूर्वाचल बैंक में हड़ताल, दूसरे दिन भी निराश लौटे ग्राहक

गोरखपुर, जेएनएन। ज्वाइंट फोरम ऑफ पूर्वाचल बैंक यूनियंस के तत्वावधान में पूर्वाचल बैंक कर्मी अपनी मांगों को लेकर बुधवार को दूसरे दिन भी हड़ताल पर रहे। सभी 600 बैंक शाखाओं में ताले लटके रहे। बैंक पहुंचे ग्राहकों को निराश लौटना पड़ा। दो दिन की हड़ताल से बैंक में लगभग पांच सौ करोड़ रुपये के कारोबार प्रभावित होने के अनुमान हैं।

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बैंक कर्मी यहां शहर के तारामंडल स्थित प्रधान कार्यालय पर एकत्रित हुए और नारेबाजी कर अपनी मांगों के पक्ष में आवाज बुलंद की। इसके बाद आयोजित सभा में वक्ताओं ने नोट बंदी व ऋण माफी के दौरान किए गए ओवरटाइम के भुगतान की मांग की। उन्होंने कहा कि समस्त ग्रामीण बैंकों में प्रोन्नति व भर्ती मित्रा कमेटी की संस्तुतियों के अनुसार की जा रही है, जबकि पूर्वाचल बैंक में इससे परे जाकर रिक्तियों की संख्या में कमी की जा रही है। बैंक कर्मियों ने एकजुटता का आह्वान किया और संघर्ष से अपना हक लेने की बात कही। इस अवसर पर इंप्लाइज एसोसिएशन के अध्यक्ष राहुल प्रताप सिंह, महामंत्री शिवम श्रीवास्तव, आफिसर्स एसोसिएशन के अध्यक्ष राजेश कुमार सिंह, महामंत्री सुरेश चंद्र श्रीवास्तव, कार्यकारी महामंत्री अजय कुमार शर्मा, कर्मचारी संघ के अध्यक्ष पवन मिश्रा, महामंत्री अनुतोष देव, अधिकारी संगठन के अध्यक्ष विनय कुमार लाल श्रीवास्तव, महामंत्री विरेंद्र पांडेय, अमित सिंह, सर्वानंद, बीएन दुबे, अंकित खरे, दीपक श्रीवास्तव व विक्रम श्रीवास्तव आदि उपस्थित थे।

यह हैं मुख्य मांगें

नोट बंदी व ऋण माफी के दौरान किए गए ओवरटाइम का शीघ्र भुगतान किया जाए। मित्रा कमेटी की संस्तुतियों के अनुसार सभी संवर्गो में प्रोन्नति के लिए रिक्तियों की संख्या में वृद्धि की जाए। मृतक आश्रित योजना का क्रियान्वयन सर्वोच्च न्यायालय के अनुसार अगस्त 2014 से किया जाए। कार्यालय सहायकों के सिंगल विंडो एलाउंस में वृद्धि की जाए। स्टॉफ ऋणों की सीमा बढ़ाई जाए। मेडीक्लेम पॉलिसी के अंतर्गत समस्त दावों का भुगतान किया जाए।


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