तेनुआ टोल प्लाजा स्टांप चोरी का मुकदमा, होगी वसूली Gorakhpur News
तेनुआ टोल प्लाजा संचालित करने वाली फर्म का एनएचएआइ से नौ साल का अनुबंध हुआ है जबकि नयनसर टोल प्लाजा का अनुबंध तीन साल का है। फर्म पर 11.5 करोड़ की देनदारी निकली है।
गोरखपुर, जेएनएन। जनपद की सीमा में फोरलेन और नेशनल हाईवे पर पडऩे वाले दो टोल प्लाजा के संचालकों ने रजिस्ट्री विभाग को लगभग 12 करोड़ रुपये चूना लगा दिया है। विभाग ने तेनुआ टोल प्लाजा संचालित करने वाली फर्म पर 11.5 करोड़ रुपये की स्टांप चोरी का मुकदमा दर्ज कराया है।
यहां पहले से ही दर्ज है स्टांप चोरी का मामला
पीपीगंज स्थित नयनसर टोल प्लाजा संचालक पर 52 लाख रुपये की स्टांप चोरी का मुकदमा पहले ही दर्ज है। स्टांप एक्ट के मुताबिक एक साल से अधिक अवधि का टेंडर हासिल करने वाली सभी टोल प्लाजा फर्मों को रजिस्ट्री विभाग में पंजीकरण कराना जरूरी होता है। लेकिन मंडल की सीमा में पडऩे वाले पांच टोल प्लाजा फर्मों ने मात्र सौ रुपये के स्टांप पर पट्टा विलेख कराकर करोड़ों रुपये की स्टांप चोरी की है।
नौ साल का हुआ है अनुबंध
तेनुआ टोल प्लाजा संचालित करने वाली फर्म का एनएचएआइ से नौ साल का अनुबंध हुआ है जबकि नयनसर टोल प्लाजा का अनुबंध तीन साल का है। इस संबंध में रजिस्ट्री विभाग के अफसरों ने जिलाधिकारी को जानकारी दी तो उन्होंने दोनों फर्मों के पट्टा विलेख को तलब करने का आदेश दिया। विभाग ने दो फीसद की दर से स्टांप ड्यूटी का मूल्यांकन कराया तो फर्म पर 11.5 करोड़ की देनदारी निकली। मंडल के तीन अन्य टोल प्लाजा फर्मों पर भी कार्रवाई की तलवार लटक रही है।
आरसी जारी कर होगी वसूली
इस संबंध में स्टांप एआइजी कमलेश शुक्ल का कहना है कि व्यक्तिगत रूप से प्रयास कर तेनुआ व नयनसर टोल प्लाजा संचालकों द्वारा स्टांप चोरी का मामला उजागर किया गया है। दोनों फर्मों पर स्टांप वाद दर्ज किया गया है। जिलाधिकारी के न्यायालय में मामला विचाराधीन है। निर्धारित धनराशि जमा नहीं करने पर आरसी जारी कर वसूली की जाएगी।