गोरखपुर, जागरण संवाददाता। जिले में रोहिन एवं राप्ती नदी के जलस्तर में कमी दर्ज की गई। खतरे के निशान से ऊपर बह रही रोहिन नदी भी खतरे के बिन्दु से नीचे आ गई है। सरयू नदी के जलस्तर में वृद्धि जारी है, जिसके कारण कई गांवों के लोग प्रभावित हैं। प्रशासन की ओर से तटबंधों पर नजर रखी जा रही है। कई क्षेत्रों में नाव भी लगा दी गई है। आपदा प्रबंधन प्राधिकरण के जरिए प्रशासन राहत सामग्री वितरण की तैयारी कर चुका है लेकिन अभी तक किसी भी तहसील से इसकी मांग नहीं की गई। मांग आते ही वितरण शुरू कर दिया जाएगा।
खतरे के निशान से राप्ती 43 सेंटीमीटर नीचे
रविवार की शाम बर्डघाट में राप्ती नदी का जलस्तर 74.55 मीटर दर्ज किया गया। यह नदी खतरे के निशान से 43 सेंटीमीटर नीचे है। राप्ती नदी के जलस्तर में पिछले आठ घंटों में चार सेंटीमीटर की गिरावट दर्ज की गई है। इसी तरह त्रिमुहानी घाट पर रोहिन नदी का जलस्तर 82.11 मीटर रिकार्ड किया गया। यह नदी खतरे के निशान से 33 सेंटीमीटर नीचे आ चुकी है। रविवार की सुबह नदी खतरे के बिन्दुु से मात्र पांच सेंटीमीटर ही रह गई थी। सरयू नदी अयोध्या पुल एवं तुर्तीपार, दोनों स्थानों पर खतरे के निशान से ऊपर बह रही है। गोर्रा नदी ङ्क्षपडरा में खतरे के निशान से नीचे है। इसका जलस्तर स्थिर बना है।
आमी नदी के पानी से घिरा विद्यालय
एक ही परिसर में स्थित पिपरौली क्षेत्र के प्राथमिक एवं पूर्व माध्यमिक विद्यालय जरलही का परिसर आमी नदी के पानी से घिर गया है। विद्यालय में शिक्षकों के आने-जाने में भी परेशानी हो रही है। आशंका जताई जा रही है कि पानी और बढ़ा तो कक्षों में भी प्रवेश कर जाएगा। बाढ़ को लेकर गांव के लोग भी सशंकित हैं।