यूपी बोर्ड : सख्ती बढ़ी तो 57 हजार से 11 हजार हो गई विद्यार्थियों की संख्या
यूपी बोर्ड में सख्ती बढ़ी तो परीक्षार्थियों की संख्या कम हो गई। केवल गोरखपुर में ही परीक्षार्थियों की संख्या 57 से घटकर 11 हजार हो गई।
गोरखपुर, (जेएनएन)। यूपी बोर्ड परीक्षा में सख्ती का असर प्राइवेट विद्यार्थियों पर देखने को मिल रहा है। इस साल माध्यमिक शिक्षा परिषद के क्षेत्रीय कार्यालय गोरखपुर के अंतर्गत आने वाले तीन मंडलों (गोरखपुर, बस्ती, देवीपाटन) के 11 जिलों में मात्र 11 हजार प्राइवेट विद्यार्थी ही होंगे। गत वर्ष यह संख्या 57 हजार थी। माना जा रहा है कि नकल के भरोसे परीक्षा पास करने की उम्मीद लगाने वाले अभ्यर्थियों ने इस बार पहले ही किनारा कर लिया।
परीक्षा में होगी सख्ती
यूपी बोर्ड परीक्षा में इस बार वे ही विद्यालय परीक्षा केंद्र बनाए जाएंगे, जिनके हर कमरे में दो-दो सीसीटीवी कैमरे व दो-दो वायस रिकार्डर होंगे। इस मानक के द्वारा नकल विहीन परीक्षा कराने की मंशा है। शासन की इस मंशा को देखते हुए अधिकतर नकल माफिया ने पास कराने का ठेका ही नहीं लिया है।
पिछले साल पकड़ा गया था फर्जीवाड़ा
प्राइवेट विद्यार्थियों के आवेदन में पिछले साल बड़े पैमाने पर फर्जीवाड़ा पकड़ा गया था। अर्हता परीक्षा न पास करने वाले विद्यार्थियों का भी फार्म भरवाया गया था, लेकिन बोर्ड कार्यालय की जांच में यह फर्जीवाड़ा पकड़ा गया। प्राइवेट विद्यार्थियों के आवेदन के लिए केंद्र बनाए गए विद्यालयों ने अर्हता प्रमाण पत्र के नाम पर बिहार व कुछ अन्य राज्य बोर्डों का फर्जी प्रमाण पत्र लगाया था। वेरीफिकेशन में ये प्रमाण पत्र गलत पाए गए। सभी विद्यालयों को सुधार का मौका दिया गया था, लेकिन सुधार नहीं किया गया। नतीजा यह हुआ कि क्षेत्रीय बोर्ड कार्यालय के अंतर्गत आने वाले 11 जिलों में करीब 12500 अभ्यर्थियों का रोल नंबर डिलीट कर दिया गया था और वे परीक्षा से वंचित हो गए थे।
माध्यमिक विद्यालयों को नहीं बनाया गया केंद्र
इस साल भी गोरखपुर में 30 से अधिक माध्यमिक विद्यालयों को प्राइवेट विद्यार्थियों के लिए केंद्र बनाने की तैयारी थी, लेकिन शुचिता के लिए माध्यमिक शिक्षा परिषद ने केवल राजकीय विद्यालयों को ही केंद्र बनाने का निर्देश दिया। राजकीय विद्यालयों को केंद्र बनाने के कारण प्राइवेट विद्यार्थियों को लेकर फर्जीवाड़ा की संभावना काफी क्षीण हो गई और संख्या में काफी कमी आई।
गोरखपुर में मात्र 2003 विद्यार्थी
इस साल गोरखपुर में मात्र 2003 विद्यार्थी ही प्राइवेट हैं। इनमें हाईस्कूल में 638 व इंटरमीडिएट में 1365 अभ्यर्थियों ने पंजीकरण कराया है। पिछले साल गोरखपुर में प्राइवेट विद्यार्थियों की संख्या 16829 थी, इनमें से हाईस्कूल में 9375 व इंटरमीडिएट में 7454 विद्यार्थी शामिल थे।
सख्त माहौल में होगी परीक्षा
संयुक्त शिक्षा निदेशक योगेंद्र नाथ सिंह ने कहा कि परीक्षा पूरी तरह से पारदर्शी एवं सख्त माहौल में होगी। इस साल केवल राजकीय विद्यालयों को ही प्राइवेट विद्यार्थियों के लिए केंद्र बनाया गया है। पिछले साल की तुलना में इन विद्यार्थियों की संख्या में इस बार काफी कमी आई है।