कोरोना संक्रमित मिलते ही अलर्ट हो जाएंगे नगर निगम के अफसर Gorakhpur News
नगर निगम क्षेत्र में कोरोना संक्रमित मरीज मिलते ही नगर निगम के अफसरों के पास अलर्ट का मैसेज आ जाएगा। प्रशासन से कोरोना संक्रमित की जानकारी मिलते ही कंट्रोल रूम से मुख्य अभियंता नगर स्वास्थ्य अधिकारी और संबंधित क्षेत्र के सुपरवाइजर के मोबाइल पर मैसेज भेज दिया जाएगा।
गोरखपुर, जेएनएन : नगर निगम क्षेत्र में कोरोना संक्रमित मरीज मिलते ही नगर निगम के अफसरों के पास अलर्ट का मैसेज आ जाएगा। नगर निगम प्रशासन ने कोविड कंट्रोल रूम की स्थापना की है। प्रशासन से कोरोना संक्रमित की जानकारी मिलते ही कंट्रोल रूम से मुख्य अभियंता, नगर स्वास्थ्य अधिकारी और संबंधित क्षेत्र के सुपरवाइजर के मोबाइल पर मैसेज भेज दिया जाएगा। इसके बाद मुख्य अभियंता मोहल्ले में बांस-बल्ली लगाकर कंटेनमेंट जोन बनाएंगे। नगर स्वास्थ्य अधिकारी सोडियम हाइपोक्लोराइट का छिड़काव कराएंगे और सुपरवाइजर इलाके के सभी घरों के आसपास सफाई की व्यवस्था दुरुस्त कराएंगे।
शहर में बढ़ रहे हैं कोरोना के मामले
शहर में कोरोना के मामले तेजी से बढ़ रहे हैं। रोजाना मरीजों की संख्या में इजाफा हो रहा है। सबसे ज्यादा दिक्कत घने इलाकों में हो रही है। यहां कंटेनमेंट जोन बनाने और सफाई व छिड़काव करने को लेकर पूरी जानकारी न तो अफसरों को मिल पा रही है और न ही सुपरवाइजर को। इस कारण कंटेनमेंट जोन बनाने में दो से तीन दिन भी लग जा रहे हैं। इसे देखते हुए नगर आयुक्त आशीष कुमार ने नगर निगम में कंट्रोल रूम की स्थापना के निर्देश दिए थे।
कंटेनमेंट जोन बनाया, जांच व दवा देना भूल गए
दिलेजाकपुर निवासी व्यक्ति ने जिलाधिकारी के. विजयेंद्र पाण्डियन और सीएमओ डा. सुधाकर पांडेय से जांच और दवा न मिलने का आरोप लगाया है। बताया कि पांच अप्रैल को उनका बेटा प्रयागराज से आया। सात अप्रैल को कोरोना की पुष्टि के बाद उनके घर की गली को कंटेनमेंट जोन बना दिया गया, लेकिन न तो डाक्टर आए और न ही कंट्रोल रूम ने परिवार के अन्य सदस्यों की जांच के लिए ही कोई जानकारी दी। नगरीय प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र के डाक्टर से बात की, लेकिन उन्होंने भी कोई सहयोग नहीं किया। मुख्य चिकित्सा अधिकारी डा.सुधाकर पांडेय ने बताया कि शिकायत मिली है, जांच के लिए टीम भेजी जाएगी।