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गोरखपुर में इलाहाबाद बैंक के 16 ताले खोलकर लाखों के स्‍वर्णाभूषण चुराने वाले सभी चोर गिरफ्तार Gorakhpur News

नकदी व गहने लेकर शहर से भागने की कोशिश करते समय पुलिस ने तीनों आरोपितों को पुलिस ने गोरखनाथ इलाके में तरंग क्रासिंग के पास से गिरफ्तार कर लिया। चोरी का पूरा माल भी बरामद हो गया।

By Satish ShuklaEdited By: Published: Tue, 31 Dec 2019 08:47 PM (IST)Updated: Tue, 31 Dec 2019 08:47 PM (IST)
गोरखपुर में इलाहाबाद बैंक के 16 ताले खोलकर लाखों के स्‍वर्णाभूषण चुराने वाले सभी चोर गिरफ्तार Gorakhpur News
गोरखपुर में इलाहाबाद बैंक के 16 ताले खोलकर लाखों के स्‍वर्णाभूषण चुराने वाले सभी चोर गिरफ्तार Gorakhpur News

गोरखपुर, जेएनएन। इलाहाबाद बैंक में 16 ताले खोलकर हुई लाखों की चोरी का कोतवाली पुलिस और क्राइम ब्रांच की संयुक्त टीम ने 24 घंटे से भी कम समय में पर्दाफाश कर लिया है। बैंक में संविदा पर काम करने वाले सफाई कर्मचारी ने ही दोस्त और उसके भाई के साथ मिलकर इस घटना को अंजाम दिया था।

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भागने की फिराक में तीनों चोर गिरफ्तार

मंगलवार को नकदी व गहने लेकर शहर से भागने की कोशिश करते समय पुलिस ने तीनों आरोपितों को पुलिस ने गोरखनाथ इलाके में तरंग क्रासिंग के पास से गिरफ्तार कर लिया। उनके पास से बैंक से चोरी गई पूरी रकम, सारे गहने, सीसी टीवी कैमरे का डीबीआर और घटना में प्रयुक्त बाइक बरामद कर ली गई है।

यहां के रहने वाले हैं तीनों चोर

कोतवाली इलाके में चरनलाल चौराहे पर स्थित इलाहाबाद बैंक में तीन लाख 61 हजार पांच सौ रुपये नकद और गोल्ड लोन लेने के लिए बैंक में गिरवी रखे 20 लाख से अधिक के सोने के गहने तथा सीसी टीवी कैमरे का डीबीआर चोरी हो गया था। सोमवार को सुबह बैंक खुलने पर इसका पता चला। एसपी सिटी डा. कौस्तुभ, एसपी क्राइम अशोक वर्मा और सीओ क्राइम प्रवीण सिंह ने बताया कि इस मामले में चिलुआताल क्षेत्र के उत्तरासोत निवासी विशाल उर्फ रामविशाल तथा तिवारीपुर क्षेत्र के मंझरिया निवासी अजय कुमार व उसके भाई रंजीत निषाद को गिरफ्तार किया है। गहने, रुपये व डीबीआर दो बैग में रखकर तीनों एक ही बाइक पर सवार होकर शहर से भागने की कोशिश कर रहे थे। तरंग क्रासिंग के पास पुलिस ने घेराबंदी कर उन्हें दबोच लिया।

एक माह पहले बनाई चोरी की योजना

विशाल 2015 से बैंक में सफाई करने के साथ ही चपरासी का काम करता था। धीरे-धीरे बैंक के अधिकारियों और कर्मचारियों का उसने इस हद तक भरोसा जीत लिया कि बैंक के स्ट्रांग रूम और लाकर से लेकर सभी ताले खोलने और बंद करने काम भी करने लगा। एक माह पहले बैंक अधिकारी के कहने पर उसने लाकर का सेफ खोला तो उसमें रखे रुपये और गहनों पर नजर पड़ते ही उसकी आंखे खुली की खुली रह गईं। उसी समय मौका मिलने पर उसने रुपये व गहने चुराने की योजना बना ली।


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