जानलेवा है मिलावटी दूध, ऐसे करें असली-नकली की पहचान
त्योहारों में नकली खोवा और नकली दूध की बिक्री बड़े पैमाने पर शुरू हो गई है। थोड़ी सी सावधानी बरत कर अाप भी असली-नकली दूध की पहचान कर सकते हैं।
गोरखपुर, (जेएनएन)। आजकल खाने-पीने की चीजों में मिलावट बढ़ती जा रही है। सबसे ज्यादा मिलावट दूध में हो रही है, जिसे तरह-तरह के रासायनों से मिलाकर बनाया जा रहा है। अगर दूध में डिटर्जेंट, सोडा, यूरिया, स्टार्च मिला हो तो ये आपके लिए जानलेवा भी साबित हो सकता है। अगर हम कुछ छोटी-छोटी चीजों पर ध्यान दें तो आसानी से मिलावटी दूध और तेल की पहचान कर सकते हैं।
ऐसे करें दूध की शुद्धता की जांच
सोडा परीक्षण
पांच मिली. दूध में इतना ही अल्कोहल मिलाएं। इसके बाद इसमें पांच बूंद रोजेलिक एसिड डालें। अगर दूध गहरे लाल रंग का हो जाता है तो समझ लीजिए कि मिलावट की गई है।
यूरिया परीक्षण
पांच मिलीलीटर कच्चे दूध में इतना ही पैराडाइमिथाइल एमिनो बैन्जालिडहाइड केमिकल मिलाएं। इसके बाद अगर दूध गहरा पीले रंग का हो जाता है तो इसमें यूरिया की पुष्टि हो जाएगी।
फार्मेलिन परीक्षण
पांच मिलीलीटर कच्चे दूध में इतना ही फ्लोरोग्लूसिनाल डालें। इसके बाद तैयार मिश्रण में पांच बूंद सोडियम हाइड्राक्साइड मिला दें। अगर दूध गहरें लाल रंग का हो जाता है तो मान लीजिए कि इसमें गड़बड़ है।
डिटर्जेंट परीक्षण
पांच मिलीलीटर कच्चे दूध में दो बूंद ब्रोमोकिसाल परपल घोल डालें। अगर दूध में डिटर्जेंट मिला होगा तो उसका रंग नीला हो जाएगा।
हाइड्रोजन पराक्साइड का परीक्षण
पांच मिलीलीटर दूध में चार बूंद बेन्जिलीडीन तथा दो बूंद एसिटिक एसिड डालकर हिलाएं। मिलावट होगी तो दूध नीले रंग का हो जाएगा।
स्टार्च परीक्षण
उबाले हुए दूध को पहले ठंडा कर लें। इसके बाद पांच मिलीलीटर दूध में आयोडिन की पांच बूंदें डालें। इस मिश्रण के बाद अगर दूध का रंग नीला होता है तो उसमें स्टार्च मिला है।
घर बैठे करें जांच
अभिहित अधिकारी, खाद्य व औषधि प्रशासन अजीत राय ने कहा कि यह जांच लोग घर बैठे भी कर सकते हैं। दूध का सैंपल लेते समय खाद्य सुरक्षा एवं औषधीय प्रशासन भी इसी तरह जांच करता है। हालांकि, सरकारी लैब की रिपोर्ट के बाद ही मिलावट की आधिकारिक पुष्टि होती है। मिलावट के खिलाफ लोगों को जागरूक करने के लिए कैंप भी लगाए जाएंगे।