Move to Jagran APP

डीबीटी में उलझ गए गुरुजी, बच्चों को पढ़ाना तो छोड़ ही दीजिए

परिषदीय स्कूलों के शिक्षक इन दिनों बच्चों को पढ़ाना-लिखाना छोड़ डीबीटी में उलझकर रह गए हैं। बच्चों को स्वेटर स्कूल बैग यूनीफार्म व जूता-मोजा का पैसा 1056 रुपये खाते में भेजने के लिए डीबीटी एप पर बच्चों का ब्योरा भरा जा रहा है।

By Rahul SrivastavaEdited By: Published: Sat, 09 Oct 2021 03:20 PM (IST)Updated: Sat, 09 Oct 2021 03:20 PM (IST)
डीबीटी में उलझ गए गुरुजी, बच्चों को पढ़ाना तो छोड़ ही दीजिए
डीबीटी के कारण बच्चों को नहीं पढ़ा पा रहे शिक्षक। प्रतीकात्मक तस्वीर

गोरखपुर, जागरण संवाददाता : परिषदीय स्कूलों के शिक्षक इन दिनों बच्चों को पढ़ाना-लिखाना छोड़ डीबीटी (डायरेक्ट बेनिफिट ट्रांसफर) में उलझकर रह गए हैं। बच्चों को स्वेटर, स्कूल बैग, यूनीफार्म व जूता-मोजा का पैसा 1056 रुपये खाते में भेजने के लिए डीबीटी एप पर बच्चों का ब्योरा भरा जा रहा है। इसके चलते शिक्षकों का पूरा दिन उसी में गुजर रहा है। तकनीकी परेशानी हो रही है सो अलग। ऐसे में स्कूल खुलने के बाद भी पहले की तरह बच्चों की पढ़ाई-लिखाई नहीं हो पा रही है।

loksabha election banner

बैंक खाते में नाम के अक्षरों में मिल रहा अंतर

ब्रह्मपुर विकास खंड के प्राथमिक स्कूल विश्वनाथपुर के शिक्षक अभय कुमार पाठक ने बताया कि कुछ अभिभावकों के आधार बैंक खाता से लिंक न होने की समस्या आ रही है तो वहीं कुछ के आधार व बैंक खाते में नाम के अक्षरों में अंतर मिल रहा है। यही वजह है कि स्कूल के छात्र विशाल, अजीत, कुलदीप, आकाश, प्रिंस तथा अंजनी के अभिभावकों के आधार और बैंक खाते में भी इसी तरह की समस्या आई है, जिससे अभी तक उनका ब्योरा डीबीटी एप पर अपलोड नहीं हो सका है। प्राथमिक विद्यालय आराजी बसडीला के प्रधानाध्यापक आशुतोष कुमार सिंह ने बताया कि उनके स्कूल की छात्रा रिंकी व पिंकी के अभिभावकों के आधार कार्ड भी बैंक खाता से लिंक नहीं है, जिससे अभी तक उनका ब्योरा डीबीटी पर अपलोड नहीं हो सका है। कमोवेश यही समस्या अन्य स्कूलों में भी है।

सर्वर से सांसत में शिक्षक

कंप्यूटर की अनुपलब्धता की वजह से शिक्षकों को छात्रों का ब्योरा मोबाइल से डीबीटी एप पर अपलोड करना पड़ रहा है। इसमें तमाम तरह की व्यावहारिक दिक्कतें आ रही हैं। खासतौर पर नेटवर्क व सर्वर की समस्या। जबकि डीबीटी में अभिभावकों के आधार को बैंक खाता के साथ प्रमाणित करना है। यह प्रकिया तीन चरणों में पूरी करनी है। प्रत्येक चरण में नेटवर्क व सर्वर की समस्या बाधक बन रही है। सर्वर के कारण नए पंजीकरण के साथ ही कुछ स्कूलों में सत्यापन में भी समस्या आ रही है। यदि किसी स्कूल में पांच शिक्षक हैं तो तीन या चार या एक ही का लागइन पोर्टल पर शो हो रहा है। जब तक एक प्रक्रिया पूरी नहीं हो रही, तब तक आगे का चरण बाधित रह रहा है।

नहीं मिल रहा होमवर्क, अभिभावक कर रहे फोन

डीबीटी का कार्य पूरा करने के चक्कर में शिक्षक इन दिनों बच्चों को होमवर्क तक नहीं दे पा रहे हैं, जिससे कई अभिभावक शिक्षकों को फोन कर होमवर्क को लेकर शिकायत दर्ज करा रहे हैं।

डीबीटी को लेकर गंभीर है शासन

बीएसए आरके सिंह ने कहा कि डीबीटी को लेकर शासन गंभीर है। शिक्षकों को इसमें किसी तरह की समस्या न आए इसको लेकर खंड शिक्षाधिकारियों व जिला समन्वयकों को ब्लाकवार जिम्मेदारी सौंपी गई है।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.