गोरखपुर खाद कारखाना में बनेगी देश की सबसे अच्छी यूरिया
देश में सबसे अच्छी व गुणवत्तायुक्त यूरिया का उत्पादन गोरखपुर खाद कारखाना में होगा। इसके लिए यहां देश के सबसे ऊंचे प्रीलिंग टॉवर (जहां यूरिया बनती है) का निर्माण कराया जा रहा है।
गोरखपुर, गजाधर द्विवेदी। देश में सबसे अच्छी व गुणवत्तायुक्त यूरिया का उत्पादन गोरखपुर खाद कारखाना में होगा। इसके लिए यहां देश के सबसे ऊंचे प्रीलिंग टॉवर (जहां यूरिया बनती है) का निर्माण कराया जा रहा है। इसकी ऊंचाई 149.2 मीटर होगी। अभी तक देश का सबसे ऊंचा प्रीलिंग टॉवर चंबल फर्टिलाइजर कोटा में है जिसकी ऊंचाई 141.5 मीटर है। यहां प्रीलिंग टॉवर लगभग 30 मीटर ऊंचाई तक बन चुका है। इसे दिसंबर 2020 तक पूरा करने का लक्ष्य रखा गया है।
गोरखपुर के खाद कारखाना का निर्माण जापान की कंपनी टोयो करा रही है। यहां सबसे अ'छी यूरिया का उत्पादन हो, इसके लिए कंपनी ने प्रीलिंग टॉवर की खास डिजाइन की है। इसीलिए इसकी ऊंचाई बढ़ाई गई है। खाद कारखाना प्रबंधन के अनुसार प्रीलिंग टॉवर की ऊंचाई जितनी ज्यादा होती है, यूरिया के दाने उतने छोटे व गुणवत्ता युक्त बनते हैं।
ऐसे बनेगी यूरिया
पहले यूरिया का सलूशन तैयार किया जाएगा, जो लिक्विड होगा, इसे प्रीलिंग टॉवर में ऊपर से एक मशीन के जरिये डाला जाएगा। ऊपर से सलूशन नीचे की तरफ आएगा और नीचे हवा ऊपर जाएगी, हवा के रियेक्शन से सलूशन यूरिया दाने के रूप में तब्दील होकर नीचे गिरेगा।
फरवरी 2021 में खाद देने का लक्ष्य
खाद कारखाना का निर्माण 27 फरवरी 2018 में शुरू हुआ था। निर्माण पूरा करने के लिए 36 माह की अवधि निर्धारित की गई है। एचयूआरएल (हिंदुस्तान उर्वरक एवं रसायन लिमिटेड) का दावा है कि 26 फरवरी 2021 को हर हाल खाद का उत्पादन शुरू कर दिया जाएगा, प्रतिदिन 3850 मीट्रिक टन यूरिया का उत्पादन किया जाएगा। एचयूआरएल के जीएम आरपी अहिरवार ने कहा कि खाद कारखाना के विकास का कार्य जोर-शोर से चल रहा है। हर हाल में यहां से 26 फरवरी 2021 को खाद का उत्पादन शुरू कर दिया जाएगा।