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Gorakhpur एम्स के छात्रों ने पूरी रात किया हंगामा, मनमानी का आरोप लगा निदेशक को घेरा, पुलिस ले गई आवास

एम्स के छात्रों ने अपनी मांगों को पूरा करने के लिए निदेशक का घेराव करते हुए हंगामा किया। पुलिस के समझाने पर भी नहीं माने। इस पर पुलिस अपनी सुरक्षा में निदेशक को आवास ले गई। छात्रों की कुछ मांगें पूरी की गई हैं।

By Jagran NewsEdited By: Pragati ChandPublished: Fri, 31 Mar 2023 09:38 AM (IST)Updated: Fri, 31 Mar 2023 09:38 AM (IST)
Gorakhpur एम्स के छात्रों ने पूरी रात किया हंगामा, मनमानी का आरोप लगा निदेशक को घेरा, पुलिस ले गई आवास
अपनी मांगों को लेकर हंगामा करते गोरखपुर एम्स के छात्र। -जागरण

गोरखपुर, जागरण संवाददाता। एम्स के छात्रों ने पूरी रात हंगामा किया। मनमानी का आरोप लगाते हुए निदेशक डॉ. सुरेखा किशोर को घेर लिया। एसएसपी डॉ. गौरव ग्रोवर के निर्देश पर फोर्स के साथ पहुंचे कैंट थानेदार ने छात्रों को समझाकर हटाने का प्रयास किया, लेकिन वह नहीं माने। इसके बाद निदेशक को अपनी सुरक्षा में पुलिस आवास पर ले गई। सिटी मजिस्ट्रेट ने परिसर में प्रवेश का समय बढ़ाने और अन्य मांगों पर विचार के लिए कमेटी का गठन होने का भरोसा देकर भोर में तीन बजे हंगामा कर रहे छात्रों को शांत कराया।

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इस बात को लेकर छात्रों ने किया घेराव

एम्स के गेट रात नौ बजे बंद हो जाते हैं। इसके बाद छात्रों को परिसर से बाहर निकलने पर रोक है। छात्रों का कहना है कि रात 11:30 बजे तक गेट व लाइब्रेरी खुली रहनी चाहिए। वार्डेन के साथ ही निदेशक को कई बार बता चुके हैं, लेकिन कोई सुनवाई नहीं हुई। विरोध के बाद एम्स प्रशासन रात ने 10:30 बजे तक गेट और 11:30 बजे तक लाइब्रेरी खोले रखने की सहमति दे दी। लेकिन छात्र अपनी मांग पर अडिग हैं। उनका कहना है कि अब वह बालिग हो चुके हैं। उन्हें पढ़ने और घूमने के लिए एम्स प्रशासन को समय देना चाहिए। सिटी मजिस्ट्रेट अंजनी कुमार सिंह ने बताया कि छात्रों की कुछ मांग पूरी हो गई है। अन्य मांग पर विचार करने के लिए एम्स प्रशासन ने कमेटी का गठन किया है। 10 अप्रैल तक कमेटी रिपोर्ट देगी।

छात्रों की मांग

  • लाइब्रेरी का टाइम बढ़ाया जाए, लाइब्रेरी टाइम केवल आठ बजे तक की है।
  • मेस में चार टाइम का पैसा लेकर तीन टाइम भोजन दिया जाता है। यह व्यवस्था बदली जाए।
  • एम्स के स्टूडेंट वेलफेयर कमेटी को बदला जाए।
  • हास्टल में पांच मिनट देरी से आने पर 5000 रुपये जुर्माना लगता है, इसे बंद करें।
  • मेस में भोजन की व्यवस्था कूपन सिस्टम से किया जाए, जिससे जो जितना खाए उतने रुपये दे।
  • ओपीडी और आइपीडी में छात्रों का मुफ्त उपचार कराया जाए।

क्या कहते हैं अधिकारी

एम्स के मीडिया प्रभारी पंकज श्रीवास्तव ने बताया कि छात्राओं की सुरक्षा प्राथमिकता है। इस वजह से रात नौ बजे ही गेट बंद कर दिए जाते हैं। छात्र नादानी में इसे बंदिश मान रहे हैं। छात्रों को रात के समय में कुछ रियायत दी जाएगी। इस घटना की सूचना छात्रों के स्वजन को भी दी जाएगी।


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