सिद्धार्थनगर में उल्टी-दस्त से बढ़ता जा रहा खतरा, 24 घंटे में भर्ती हुए 12 मरीज
सिद्धार्थनगर जिले के कई मोहल्लों में उल्टी-दस्त से पीड़ित मरीज लगातार मिल रहे हैं। पिछले 24 घंटे में 12 लोग उल्टी-दस्त से पीड़ित होकर इलाज के लिए जिला अस्पताल आए। इनमें बेलसड़ व खजुरिया मोहल्ले के दो-दो और एक व्यक्ति खजुरिया का निवासी है।
गोरखपुर, जागरण संवाददाता : सिद्धार्थनगर जनपद मुख्यालय के कई मोहल्लों में उल्टी-दस्त से पीड़ित मरीज लगातार मिल रहे हैं। पिछले 24 घंटे में 12 लोग उल्टी-दस्त से पीड़ित होकर इलाज के लिए जिला अस्पताल आए। इनमें बेलसड़ व खजुरिया मोहल्ले के दो-दो और एक व्यक्ति खजुरिया का निवासी है। बीमारी की शुरुआत सिसहनिया व सरोजनीनगर से हुई। इसका दायरा 10 दिनों में बढ़ा है। इसके पूर्व कांशीराम आवास व मुड़िला के रहने वाले 21 लोग उल्टी-दस्त से पीड़ित होकर अस्पताल पहुंच चुके हैं।
देसी नल का पानी पी रहे हैं लोग
बाढ़ और बारिश के बाद शहर के पोखरे और गड्ढे भर गए हैं। उसके आस-पास के लोग अभी भी देसी नल का पानी पी रहे हैं। स्वास्थ्य विभाग लोगों से पानी उबाल कर पीने की अपील कर रहा है। पूर्व में जलापूर्ति के लिए जो पाइप लाइनें फटी थी, उसे नगर पालिका प्रशासन ने बंद करा दिया है, फिर भी बीमारी नहीं रूक रही है। सीएमओ समेत विभिन्न अधिकारी उल्टी-दस्त से प्रभावित क्षेत्रों का दौरा कर चुके हैं। लोगों में ओआरएस व क्लोरिन का टेबलेट बांटा जा रहा है।
लोगों को उबले पानी को पीने की दी गई है सलाह
सीएमओ डा. संदीप चौधरी ने कहा कि उल्टी-दस्त से प्रभावित लोगों को उबले पानी को पीने की सलाह दी गई है। पीड़ित परिवार को ओआरएस व क्लोरिन की गोली उपलब्ध कराई गई है। दवाओं का वितरण निरंतर किया जा रहा है।
संचारी रोग नियंत्रण में शिक्षक की है महती भूमिका
बीआरसी नौगढ़ में परिषदीय विद्यालय के प्रधानाध्यापकों की बैठक हुई। संचारी रोग नियंत्रण में शिक्षकों की भूमिका पर चर्चा की गई। डीबीटी (डायरेक्ट बेनिफिट ट्रांसफर) की समीक्षा की। बीईओ नौगढ़ रमेश चंद्र मौर्या ने कहा संचारी रोग नियंत्रण माह व दस्तक अभियान में स्वास्थ्य विभाग के साथ शिक्षकों के साथ नागरिकों को भागेदारी करना होगा। सबको बताया जाएगा कि जागरूकता से ही सुरक्षा संभव है।
किसी भी तरह की लापरवाही क्षम्य नहीं
डीबीटी के लक्ष्य को प्राप्त करना है। अवशेष विद्यालय यह कार्य शीघ्र पूरा करें। स्कूल ड्रेस, बैग, जूता, मोजा व अन्य सामग्रियों का धन अभिभावकों के खाता में सीधे स्थानांतरित करना है। इसमें किसी भी तरह की लापरवाही क्षम्य नहीं है। प्रेरणा पोर्टल पर खाद्यान्न फीडिंग व नवीन नामांकन के साथ कायाकल्प के 19 बिंदु के संतृप्तीकरण की भी समीक्षा की। एआरपी विक्रांत त्रिपाठी, विनयकांत मिश्रा, सुरेंद्र प्रसाद, सुभाष पांडेय, मनोज पांडेय, जितेंद्र मिश्रा, मदन जायसवाल, धर्मेंद्र सिंह, पंकज यादव, अनुराधा पांडेय, जयललिता, साक्षी श्रीवास्तव आदि मौजूद रहे।