पूर्वांचल में भी सीएनजी से चलेंगे वाहन, 50 सीएनजी फिलिंग स्टेशन बनाने की तैयारी
पूर्वांचल में सीएनजी से वाहन चलाने की तैयारी शुरू हो गई है। इसके लिए गोरखपुर, संतकबीर नगर व कुशीनगर में 50 सीएनजी फिलिंग स्टेशन बनाए जाएंगे।
गोरखपुर, जेएनएन। खाद कारखाने के बहाने पूर्वांचल को अब इतनी गैस आपूर्ति हो सकेगी कि यहां सीएनजी गाडिय़ां चलने लगेंगी। इतना ही नहीं गैस की आपूर्ति लोगों के किचन तक हो सकेगी। हालांकि इसमें अभी समय लगेगा। गोरखपुर, संतकबीर नगर व कुशीनगर में 50 सीएनजी फिलिंग स्टेशन बनाए जाएंगे। इसका सर्वेक्षण शुरू हो चुका है। फिलिंग स्टेशन बनने में चार-पांच माह का समय लग सकता है।
खाद कारखाने को गैस पाइप लाइन से गैस की आपूर्ति फरवरी तक हो सकती है। इसके लिए गैस पाइप लाइन निर्माण का कार्य देख रही गेल जी-जान से जुटी हुई है। गैस पाइप लाइन आ जाने से गोरखपुर, कुशीनगर और संतकबीरनगर में भी बड़े शहरों की तर्ज पर सीएनजी से गाडिय़ां चलेंगी और लोगों के किचन में पाइप-लाइन के जरिये रसोई गैस (पीएनजी) की सुविधा उपलब्ध होगी। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ 22 नवंबर को दीनदयाल उपाध्याय गोरखपुर विश्वविद्यालय परिसर में आयोजित कार्यक्रम में कार्यदायी संस्था के कार्यों की शुरुआत के साथ इसकी घोषणा भी कर सकते हैं।
तेल नियामक पेट्रोलियम और प्राकृतिक गैस नियामक बोर्ड (पीएनजीआरबी) ने सीएनजी एवं पाइपलाइन से प्राकृतिक गैस की खुदरा बिक्री का लाइसेंस सिटी गैस डिस्ट्रीब्यूशन प्रोजेक्ट के तहत गोरखपुर में टोरेंट पॉवर की सबसिडरी टोरेंट गैस को कुछ माह पूर्व प्रदान कर दिया है। गोरखपुर, कुशीनगर और संतकबीरनगर में 50 सीएनजी फिलिंग स्टेशन बनाए जाने हैं। फिलिंग स्टेशन बनाए जाने में करीब चार से पांच महीने का समय लग सकता है। इस काम के साथ ही घरों में गैस पाइप लाइन से एलपीजी सप्लाइ का भी जिम्मा उन्हीं की कंपनी को मिला है। इसके लिए टोरेंट की टीम ने सर्वेक्षण कार्य भी शुरू कर दिया है। कंपनी के अब तक के सर्वेक्षण के मुताबिक गोरखपुर में 25, कुशीनगर में 13 और संतकबीरनगर में 12 सीएनजी फिलिंग स्टेशन बनाए जाने की जरूरत है।
22 नवंबर को होने वाले कार्यक्रम के मद्देनजर टोरेंट गैस के अधिकारी गोरखपुर में डेरा डाले हुए हैं। दो दिवसीय दौरे पर आए मुख्यमंत्री से भी टोरेंट गैस के अधिकारियों ने मंदिर में मुलाकात की। हालांकि संबंधित अधिकारी इस बारे में साफ-साफ कहने से बच रहे हैं।