सीएमओ ने कहा-डेंगू पर रिपोर्ट न देने वाले पैथालाजी सेंटरों को नोटिस भेजेंगे Gorakhpur News
उन्होंने यह भी साफ किया कि जो अस्पताल और पैथालॉजी नियमानुसार बीमारियों का नोटिफिकेशन नहीं करेंगे उन्हें नोटिस दी जाएगी।
गोरखपुर, जेएनएन। मुख्य चिकित्साधिकारी डॉ. श्रीकांत तिवारी ने कहा है कि जनहित में डेंगू मरीजों का नोटिफिकेशन सिर्फ सरकारी अस्पतालों या नर्सिंग होम की जिम्मेदारी ही नहीं है। इसके लिए पैथालॉजी सेंटरों को भी आगे आना होगा। अगर उनके यहां रैपिड जांच में किसी मरीज में डेंगू की पुष्टि होती है तो उसकी जानकारी स्वास्थ्य विभाग को उपलब्ध करानी चाहिए। ऐसी सूचना पर विभाग त्वरित निरोधात्मक कार्यवाही करेगा।
पड़ोसी भी दे सकते हैं डेंगू की सूचना, होगा अमल
उन्होंने बताया कि समुदाय स्तर पर बीमार मरीजों के नोटिफिकेशन की जिम्मेदारी आशा कार्यकर्ताओं और एनएनएम को दी गई है लेकिन जनहित में डेंगू मरीज के परिजन और पड़ोसी भी यह सूचना विभाग को दे सकते हैं। उन्होंने इस बात पर जोर दिया है कि सभी के समन्वित प्रयासों से ही डेंगू समेत सभी प्रकार के संचारी रोगों के नियंत्रण में मदद मिलेगी। उन्होंने यह भी साफ किया कि जो अस्पताल और पैथालॉजी नियमानुसार बीमारियों का नोटिफिकेशन नहीं करेंगे, उन्हें नोटिस दी जाएगी। समय रहते नोटिफिकेशन न होने से समुदाय को क्षति होती है और बीमारी के प्रसार का खतरा बढ़ जाता है।
डेंगू पर चिकित्सकों के लिए प्रोटोकॉल
जिला स्वास्थ्य शिक्षा अधिकारी ओपीजी राव ने बताया कि डेंगू को लेकर चिकित्सकों के लिए कुछ प्रोटोकॉल निर्धारित किए गए हैं, जिनका पालन करना अनिवार्य है। उन्होंने कहा कि बुखार का कोई भी केस आए, सीबीसी जांच अवश्य करवाएं। डेंगू मरीज के पर्चे पर बरतने वाली सावधानियां अवश्य लिखें। बुखार के चौथे से सातवें दिन में विशेष निगरानी व सावधानी रखें। बीपी, सुगर और गर्भवती महिलाओं के लिये मानक वैज्ञानिक पद्धति का इलाज दें। मरीज के इलाज के साथ उसकी काउंसिलिंग पर ज्यादा ध्यान होना चाहिए। अनावश्यक एंटीबायोटिक का इस्तेमाल न करें।