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छठ महापर्व की तैयारियां हुईं तेज, बनने लगीं वेदियां

छठ महापर्व की तैयारियां तेज हो गई हैं। छठ के लिए घाटों और तालाबों की साफ सफाई शुरू हो गई है। बाजारों में खरीदारी बढ़ गई है।

By Pradeep SrivastavaEdited By: Published: Sun, 11 Nov 2018 04:02 PM (IST)Updated: Mon, 12 Nov 2018 10:02 AM (IST)
छठ महापर्व की तैयारियां हुईं तेज, बनने लगीं वेदियां
छठ महापर्व की तैयारियां हुईं तेज, बनने लगीं वेदियां

गोरखपुर, (जेएनएन)। छठ पर्व की तैयारी नगर से देहात तक तेजी से चल रही है। नदी, तालाब तथा पोखरों के किनारे लोग पहुंच रहे हैं और साफ-सफाई करके वेदी बनाने में जुटे हैं। नगर पंचायत से सटे कालसेर के पास राप्ती नदी के किनारे साफ-सफाई तेजी से कराई जा रही है। अघ्र्य के लिए पूजा घाटों की तैयारी भी अंतिम दौर में है।

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आगामी 13 नवंबर को पडऩे वाले छठ के महापर्व की तैयारियों में लोग जुट गए है। 12 को महिलाएं खरना करेगी तथा 13 नवंबर की शाम को डूबते सूर्य को अघ्र्य देंगी। छठ त्योहार बड़े ही धूमधाम के साथ मनाया जाता है। त्योहार को नजदीक देख कर लोग तैयारियों में जुट गए हैं। पूजा के लिए बड़ी संख्या में लोग पोखरों पर पहुंच कर आस-पास साफ-सफाई कर रहे हैं। इसके बाद मिट्टी और ईंट की वेदी बनाई। पर्व के दिन वेदी को लेकर कोई विवाद नहीं होने पाए, इसके लिए पहले ही अपने-अपने स्थान सुरक्षित कर लिए जा रहे हैं। त्योहार को लेकर बाजारों में भी तैयारी तेज दिख रही है। दुकानदार शनिवार से ही ग्राहकों की भीड़ को देखते हुए सामान खरीद कर दुकानों को सजाने में लगे हैं। 

बाजार गुलजार, उमड़े खरीदार

शहर में इसकी धूम जमकर दिखी। सुबह होते ही शहर के तय स्थानों पर छठ के बाजार सज गए। ऐसे-ऐसे मौसमी और दुर्लभ फल दिखने लगे, जो हर वर्ष सिर्फ छठ पर्व के दौरान ही देखने को मिलते है। सामान की खरीदारी भी शुरू हो गई है। पिछले वर्ष के मुकाबले इस वर्ष के छठ बाजार में अगर कुछ नया है तो वह दाम का उतार-चढ़ाव। कुछ के दाम गिरे हैं तो कुछ में 25 से ज्यादा फीसद की बढ़ोत्तरी हुई है। हालांकि काफी सामान के दाम यथावत हैं। सर्वाधिक बढ़ोत्तरी आम के दाम में हुई है, बेमौसम मिल रहा आम पिछले वर्ष जहां 150 रुपये किलो था, वहीं इस बार इसका भाव 200 रुपये किलो पहुंच गया है। तरबूज और बड़े नीबू का दाम तो दूना हो गया है। बढ़े दामों वाले अन्य फलों में संतरा, मौसमी, अनार, गंजी, बेर, आंवला, गाजर, पपीता, नारियल आदि शामिल हैं। पनियाला, केला, क'चा बादाम, सिंघाड़ा, इमली आदि के दामों में कमी आई है। यह कमी भी 25 से 50 फीसद के करीब है।

असुरन पर फल बेच रहे अंकित गौड़ ने बताया कि फलों की उपलब्धता से उसका दाम निर्धारित होता है। ऐसे में इतना उतार-चढ़ाव तो लाजिमी है।

दुकानदार गीता बताती हैं कि दाम में 20 से 30 फीसद का उतार-चढ़ाव आमतौर पर आता रहता है। यह अंतर मंडी में सामान की उपलब्धता पर निर्भर करता है। चंदन गुप्त का कहना है कि जिन फलों की बाजार में उपलब्धता ज्यादा है, उनके दाम घटे हैं, जो बाजार तक कम पहुंच सके हैं, उनके दाम चढ़ गए हैं। दाम को लेकर इसी तरह की प्रतिक्रिया फल विक्रेता सुनीता की भी रही। फिलहाल धर्मशाला, असुरन, रुस्तमपुर, बेतियाहाता, घंटाघर, कूड़ाघाट, गोरखनाथ आदि में लगी अस्थायी दुकानों से शनिवार को पूरे दिन पर्व का माहौल बना रहा। देर शाम तक बाजार की रौनक बनी रही।

ग्रामीण क्षेत्रों में भी घाटों की सफाई शुरू

गोला : आस्था के पर्व छठ पूजा की तिथि नजदीक आने के साथ ही चारों ओर तैयारी शुरू हो गई है। एक तरफ श्रद्धालु नदी, तालाब, पोखरों के घाटों की साफ-सफाई व वेदी निर्माण में जुट गए हैं तो वहीं दूसरी ओर चौराहों पर पंडाल डालकर फलों व पूजा सामग्रियों की दुकानें सज गई हैं। नगर पंचायतों ने मजदूरों को लगाकर घाटों का समतलीकरण, रास्तों का निर्माण शुरू करा दिया है। इसके अलावा घाटों पर रोशनी के इंतजाम किए जा रहे हैं। पर्व के रंग में बाजार डूब गया है और आस्था व भक्ति की बयार चलने लगी है।

क्षेत्र में छठ पूजा को लेकर गोला क्षेत्र में तालाबों, पोखरों व नदियों के किनारे व रास्तों की सफाई का कार्य तेजी से शुरू हो गया है। गोला कस्बे के श्याम घाट, बेबरी घाट, पक्का घाट, शीतला घाट, सतनामी घाट, हनुमानगढ़ी आदि और बड़हलगंज कस्बे के लेटाघाट, शिवाला घाट, तरकुलही घाट, मुक्तिपथ तथा गांवों में सिधुआपार, चौतिसा, सकराखोर, बभनौली सहित आदि जगहों पर पोखरों के किनारे सफाई की जा रही है। लोग नदियों, तालाबों व पोखरों के किनारे वेदियां बनाना शुरू कर दिए हैं। वेदी को नया कलेवर देने के लिए विभिन्न रंगों से पेंटिंग किया जा रहा है।

नदी की ओर होगी बैरीकेडिंग

पर्व पर महिलाओं को नदी की ओर गहरे पानी में जाने से बचाने के लिए नगर पंचायत प्रशासन द्वारा लेटाघाट, शिवाला घाट, तरकुलही घाट व मुक्तिपथ सरयू तट पर एक छोर से दूसरे छोर तक रस्सी की बैरीकेडिंग की जाएगी। इसके अतिरिक्त सुरक्षा के लिए सीसीटीवी कैमरे की भी व्यवस्था की जा रही है।

ठीक किए जा रहे रास्ते

घाटों तक जाने वाले रास्ते को ठीक कराने में नगर पंचायत प्रशासन अपने कर्मचारियों को लगा दिया है। कर्मचारी ट्रैक्टर से मिट्टी खींचकर रास्तों को बराबर करने में लगे हैं। घाटों पर नगर प्रशासन द्वारा साफ-सफाई, समतलीकरण, चूने का छिड़काव, वेदियों की रंगाई-पुताई की जा रही है।

रोशनी से जगमग होंगे घाट

छठ पर्व से पूर्व लेटाघाट, शिवाला घाट, तरकुलही घाट व मुक्तिपथ स्थित रामकवल शाही घाट रोशनी से जगमग हो जाएंगे। इसके अतिरिक्त गोला कस्बा के पक्का घाट, शीतला घाट, सतनामी घाट व श्याम घाट पर भी रोशनी का इंतजाम किया जा रहा है। इसके लिए मुख्य मार्ग से घाट तक पहुंचने वाले रास्ते पर बड़ी संख्या में ट््यूब लाइटें लगाने की तैयारी चल रही है।

गूंजने लगी भक्तिमय संगीत

छठ पर्व को लेकर एक तरफ सामानों की खरीदारी हो रही है तो वहीं बाजार से घरों तक भक्तिमय गीत की धुन बज रही है। टेलीविजन चैनल से लेकर इलेक्ट्रानिक दुकान तथा डीजे की दुकान पर छठ पूजा के महात्म को समझाते हुए भोजपुरी तो कहीं हिंदी गीत बजाए जाने से पूरा माहौल भक्तिमय हो चुका है।


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