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Gorakhpur coronavirus: बाहर से आ रहे पाजिटिव लोगों की ट्रैवेल हिस्ट्री पर नजर, अब तक 11 लोगों में मिला संक्रमण

कोरोना जांच प्रभारी डा. एके सिंह का कहना है कि रेलवे स्टेशन व एयरपोर्ट पर जांच बूथ बना दिए गए हैं। खतरा रेलवे स्टेशन से गुजरने वाले यात्रियों से ही है। लेकिन ज्यादातर बिना जांच कराए निकल जाते हैं। हम किसी के साथ जबरदस्ती कर नहीं सकते।

By Satish Chand ShuklaEdited By: Published: Tue, 20 Jul 2021 03:52 PM (IST)Updated: Tue, 20 Jul 2021 06:01 PM (IST)
Gorakhpur coronavirus: बाहर से आ रहे पाजिटिव लोगों की ट्रैवेल हिस्ट्री पर नजर, अब तक 11 लोगों में मिला संक्रमण
कोरोनावायरस संक्रमण से संबंधित प्रतीकात्‍मक फाइल फोटो, जेएनएन।

गोरखपुर, जागरण संवाददाता। देश के कई हिस्सों में कोरोना संक्रमण तेजी से फैलने व डेल्टा प्लस संक्रमण की पुष्टि होने के बाद स्वास्थ्य महकमा सतर्क हो गया है। बाहर से आ रहे पाजिटिव लोगों की ट्रैवेल हिस्ट्री पर विशेष नजर रखी जा रही है। 15 दिन में दिल्ली, मुंबई व मध्य प्रदेश से आए 11 लोगों की कोरोना जांच रिपोर्ट पाजिटिव आई है। इसमें से चार रेलवे स्टेशन पर मिले थे। उनमें कोई लक्षण नहीं थे। उन्हें दवाएं देकर सतर्कता के साथ घर जाने व होम आइसोलेट होने की सलाह दी गई। हालांकि इनमें से कोई गोरखपुर का नहीं था। छह लोग मेडिकल कालेज में भर्ती हैं। उनके नमूने जीनोम सिक्वेंङ्क्षसग के लिए दिल्ली स्थित इंस्टीट््यूट आफ जीनोमिक्स एंड इंटीग्रेटिव बायोलाजी (आइजीआइबी) में भेजे गए हैं।

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आधार कार्ड से मिलेगी जानकारी

बाहर से आ रहे ज्यादातर लोगों के आधार कार्ड पर उनके गांव का पता है। वे ट्रैवेल हिस्ट्री छिपाने की कोशिश कर रहे हैं। इसके लिए मरीज व उनके स्वजन से अलग-अलग पूछताछ की जा रही है, ताकि कोई व्यक्ति बाहर से यदि संक्रमण लेकर आया है तो उसकी पहचान हो सके। रेलवे स्टेशन व एयरपोर्ट पर मिलने वाले यात्री तो पूरी बात बता रहे हैं। लेकिन जांच केंद्रों पर पहुंचे लोगों के बारे में जानना मुश्किल हो रहा है। ऐसे मरीज जब मेडिकल कालेज में भर्ती हुए, तब उनके बारे में सही जानकारी हो पाई।

जीनोम सिक्वेंसिंग के लिए देनी होती है पूरी जानकारी

बाबा राघव दास मेडिकल कालेज के माइक्रोबायोलाजी विभाग के अध्यक्ष डा. अमरेश सिंह ने कहा कि आसानी से मरीज ट्रैवेल हिस्ट्री के बारे में जानकारी नहीं दे रहे हैं। इससे जीनोम सिक्वेंसिंग के लिए नमूने भेजने में दिक्कत आ रही है, क्योंकि इसके लिए मरीज की पूरी जानकारी देनी होती है। शासन से निर्देश मिला है कि मुंबई, केरल, त्रिपुरा, तमिलनाडु, आंध्र प्रदेश आदि राज्यों से आने वाले लोग अगर पाजिटिव मिलते हैं, तो उनकी जीनोम सीक्वेसिंग कराई जाए।

विदेश से आने वालों से खतरा नहीं

कोरोना जांच प्रभारी डा. एके सिंह का कहना है कि रेलवे स्टेशन व एयरपोर्ट पर जांच बूथ बना दिए गए हैं।एयरपोर्ट से ज्यादा खतरा इसलिए नहीं है कि विदेश से कोई सीधी फ्लाइट यहां नहीं आती है। किसी न किसी एयरपोर्ट से होकर यात्री आते हैं, उनकी वहां जांच हो चुकी होती है। खतरा रेलवे स्टेशन से गुजरने वाले यात्रियों से ही है। लेकिन ज्यादातर बिना जांच कराए निकल जाते हैं। हम किसी के साथ जबरदस्ती कर नहीं सकते। इसलिए जांच बहुत कम संख्या में हो पा रही है।


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