संक्रमितों को जिदादिली सिखा रहे ठीक हो चुके कोरोना फाइटर
संयम व धैर्य का बांट रहे ज्ञान हौसले की मजबूती का दे रहे संदेश
गोंडा: जीत जाएंगे हम. के जज्बे के साथ कोरोना को मात दे चुके फाइटर अब संक्रमितों को जिदादिली सिखा रहे हैं। होम आइसोलेट संक्रमितों से वह प्रतिदिन वाट्सएप व वीडियो कॉलिग के जरिए संपर्क कर रहे हैं। उनका उत्साह बढ़ा रहे हैं, सतर्कता के बारे में जागरूक कर रहे हैं.. खुद को व्यस्त रखने के फिट होने का राज बता रहे हैं। स्वास्थ्य विभाग ऐसे कोरोना फाइटर कर्मचारियों के संदेश का प्रचार कर रहा है।
आंकड़ों के मुताबिक जिले में कोरोना के 3950 मामले सामने आ चुके हैं। इसमें से मात्र 1206 संक्रमित ही अस्पताल गए। वर्तमान में 14 का इलाज चल रहा है। 1144 स्वस्थ होकर घर लौटे। वहीं 48 की मौत हो गई। इससे इतर 2423 कोरोना संक्रमितों ने घर पर रहकर कोरोना को मात दे दी।
हौसला रखें मजबूत
- जिला अस्पताल में कार्यरत कर्मी सतीश कुमार व उनकी दस साल की बेटी यशी कोरोना संक्रमित हो गई थी। घर पर रहकर उन्होंने कोरोना को मात दे दी। बकौल सतीश, कोरोना संक्रमितों को हौसला मजबूत रखना चाहिए। दिमाग में इस बात को लाना ही नहीं चाहिए कि वह कोरोना संक्रमित है। खुद को रचनात्मक कार्यों में व्यस्त रखना चाहिए। कोरोना फाइटर महिला अस्पताल में कार्यरत स्वास्थ्य कर्मी राजू गुप्ता कहते हैं कि संक्रमित व्यक्ति का हर किसी को हौसला अफजाई करना चाहिए। आम दिनों में जिस काम को करने का अवसर नहीं मिलता है, उसे इस अवधि में करना चाहिए। मसलन, किताबें लिखना, पढ़ना या फिर अन्य शौक पूरे करने चाहिए। खानपान पर विशेष ध्यान देना चाहिए। गर्मपानी के साथ ही काढ़ा पीना चाहिए।
क्या कहते हैं जिम्मेदार
- कोरोना संक्रमितों से नियमित तौर पर संवाद स्थापित किया जा रहा है। स्वास्थ्य टीमें उनसे संपर्क भी करती है। कोरोना फाइटर भी संक्रमितों को जागरूक कर रहे हैं।
- डॉ. मधु गैरोला, सीएमओ गोंडा