UP Chunav 2022: गाजियाबाद में सपा-रालोद तीन और बसपा ने घोषित किए दो प्रत्याशी, यहां देखें डिटेल
UP Vidhan Sabha Chunav 2022 उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव - 2022 के लिए सपा-रालोद गठबंधन ने बृहस्पतिवार दोपहर को जिले की तीन सीटों पर प्रत्याशियों की घोषणा कर दी है। इनमें से दो सीट पर कांग्रेस ने भी अपने प्रत्याशी घोषित कर दिए हैं।
गाजियाबाद [अभिषेक सिंह]। उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव- 2022 के लिए सपा- रालोद गठबंधन ने बृहस्पतिवार दोपहर को जिले की तीन सीटों पर प्रत्याशियों की घोषणा कर दी है। इनमें से दो सीट पर कांग्रेस ने भी अपने प्रत्याशी घोषित कर दिए हैं। देर शाम को बहुजन समाज पार्टी ने भी दो सीटों पर अपने पत्ते खाेले और मोदीनगर, लोनी विधानसभा सीट से प्रत्याशियों की घोषणा की है। पिछले विधानसभा चुनाव में पांचों विधानसभा सीट पर जीत दर्ज करने वाली भाजपा अभी चुप्पी साधे हैं। एक भी सीट पर प्रत्याशियों की घोषणा अब तक पार्टी ने नहीं की है। उम्मीद है कि शुक्रवार तक भाजपा भी अपने पत्ते खोलेगी।
समाजवादी पार्टी ने जिले की पांच सीट में से महज एक साहिबाबाद सीट पर अमरपाल शर्मा को प्रत्याशी बनाकर चुनावी मैदान में उतारा है। राष्ट्रीय लोकदल ने लोनी से मदन भैया को और मोदीनगर से सुदेश शर्मा को प्रत्याशी बनाया है। गाजियाबाद शहर विधानसभा सीट और मुरादनगर विधानसभा सीट पर सपा रालोद गठबंधन ने अभी प्रत्याशियों की घोषणा नहीं की है, माना जा रहा है कि इन दोनों सीटों पर भाजपा के प्रत्याशियों के घोषित होने का इंतजार सपा-रालोद गठबंधन को है, जिसके बाद प्रत्याशी की घोषणा होगी। इसके साथ ही बहुजन समाज पार्टी ने मोदीनगर से डा. पूनम गर्ग को और लोनी से हाजी आकिल पावी को प्रत्याशी घोषित किया है।
प्रत्याशियों का प्रोफाइल
चार बार विधायक रह चुके हैं मदन भैया
रालोद प्रत्याशी द्वारा लोनी विधानसभा क्षेत्र के प्रत्याशी बने मदन भैया की छवि बाहुबली नेता की है। वह लगातार चार बार खेकड़ा विधानसभा क्षेत्र से विधायक चुने जा चुके हैं। 1991 में जनता पार्टी, 1993 में एसपी, 2002 में निर्दलीय और 2007 में वह रालोद के टिकट से ही खेकड़ा विधानसभा का चुनाव जीते थे। उन्होंने 2012 व 2017 में भी रालोद के टिकट पर चुनाव लड़ा था। 2012 में बसपा के जाकिर अली और 2017 में भाजपा से विधायक बनकर नंदकिशोर गुर्जर ने उन्हें हराया था।
साइकिल पर सवार हुए अमरपाल शर्मा
वर्ष 2012 में बसपा के टिकट पर साहिबाबाद के विधायक बने अमरपाल शर्मा इस बार साइकिल पर सवार हैं। अमरपाल शर्मा 2009 में गाजियाबाद से लोकसभा और उससे पूर्व गाजियाबाद विधानसभा से चुनाव भी लड़ चुके हैं। 2017 में पार्टी विरोधी गतिविधि के चलते उन्हें बसपा से निष्कासित कर दिया गया था। 2019 में उन्होंने कांग्रेस के टिकट पर चुनाव लड़ा। वर्तमान विधायक सुनील शर्मा के सामने उन्हें हार झेलनी पड़ी थी। इसके बाद 2017 में ही खोड़ा नगरपालिका चेयरमैन के पति व भाजपा नेता गजेंद्र भाटी उर्फ गज्जी की हत्या के आरोप में उन्हें जेल जाना पड़ा था।
रालोद ने सुदेश पर फिर जताया भरोसा
सुदेश शर्मा 2007-2012 तक मोदीनगर नगर पालिका चेयरमैन रहे हैं। इसके बाद वर्ष 2012 में वह रालोद से टिकट लेकर उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव में उतरे और बसपा के राजपाल सिंह को हराकर विधायक बने। गन्ना भुगतान को लेकर विधानसभा में कुर्ता उतारने के बाद प्रदेश के राजनीतिक गलियारे में खासे चर्चित रहे थे। 2017 में विधानसभा चुनाव हारने के बाद नगर पालिका अध्यक्ष के चुनाव में शिरकत की थी, जिसमें अशोक माहेश्वरी से कुछ वोटों से हार गए थे।
बसपा ने मोदीनगर से पूनम गर्ग को मैदान में उतारा
डा. पूनम गर्ग मोदीनगर की रहने वाली हैं। 2012 में नगर पालिका मोदीनगर से अध्यक्ष पद का चुनाव लड़ी थी। लेकिन हार गई थी। अब विधानसभा चुनाव में डा. पूनम ने दोबारा से अपनी किस्मत आजमाई है।
लोनी से हाजी आकिल पर बसपा ने जताया विश्वास
पावी सादकपुर निवासी हाजी आकिल वर्ष 2005 से बसपा पार्टी के समर्पित कार्यकर्ता हैं। वर्ष 2012 विधानसभा चुनाव में बसपा के प्रत्याशी जाकिर अली को सफलता दिलाने में पार्टी कार्यकर्ताओं के साथ अहम भूमिका निभाई थी। पिछले वर्ष 24 दिसंबर को पार्टी द्वारा उन्हें निष्कासित किया गया था। लेकिन एक जनवरी को पुन: पार्टी में शामिल कर लिया गया था। प्रत्याशी घोषित होने से दो दिन पूर्व आदर्श आचार संहिता के उल्लंघन का केस भी हाजी आकिल के खिलाफ दर्ज किया गया है।