Ghaziabad Civic Polls: नसीमुद्दीन सिद्दीकी के समक्ष टुकड़ों में बिखरी कांग्रेस को एकजुट करने की चुनौती
Ghaziabad Municipal Elections नसीमुद्दीन सिद्दीकी के सामने टुकड़ों में बिखरी कांग्रेस को एकजुट करने की चुनौती है। जिले में जिला और महानगर कांग्रेस के संगठन के बीच गहरी खाई बन चुकी है। एक ही नेता के सप्ताह के भीतर दो-दो अलग कार्यक्रम से कार्यकर्ता पसोपेश में हैं।
गाजियाबाद, जागरण संवाददाता। कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी देश भर में भारत जोड़ो यात्रा निकाल रहे हैं वहीं दूसरी ओर गाजियाबाद में संगठन के पदाधिकारी ही एक नहीं हो पा रहे हैं। नवनियुक्त पश्चिम उत्तर प्रदेश अध्यक्ष नसीमुद्दीन सिद्दीकी के जिले में आगमन पर जिला और शहर कमेटी ने एक सप्ताह में अलग-अलग दो कार्यक्रम लिए हैं। कांग्रेस की गुटबाजी को दूर कर पदाधिकारियों को एकजुट करना नसीमुद्दीन के लिए बड़ी चुनौती होगी।
प्रदेश में 32 साल से सत्ता से दूर है कांग्रेस
देश में आठ और प्रदेश में करीब 32 वर्षों से कांग्रेस सत्ता से दूर है। यहां जिला और महानगर में जिसके हाथ में नेतृत्व की कमान दी गई। उसी पर अपने को हाईकमान के समक्ष चमकाने और अपनों को पदों के रूप में रेवड़ियां बांटने का आरोप लगा। वहीं, जिला और महानगर अध्यक्ष और कमेटी पदाधिकारियों के बीच बढ़ती दूरियां भी पार्टी के लिए हर चुनाव में नुकसानदेह साबित हुई। खुद को दूसरे से बेहतर बताने की जुगत में नेताओं की जिद के आगे कांग्रेस निकाय चुनाव में अभी तक दूसरों के आगे बौनी नजर आ रही है।
पार्टी की जिला और महानगर इकाई ट्रेन की पटरी की तरह साथ होकर भी कभी न मिलने वाली राह पर हैं। बात करने पर दोनों एकजुटता की बात जरूर कर रहे हैं, लेकिन पार्टी के एक नेता के अलग-अलग कार्यक्रम करने या एक दूसरे के कार्यक्रमों में न पहुंचने का सिलसिला आपसी गुटबाजी को बढ़ा रहा है।
शिकायतों का चल चुका दौर
विधानसभा चुनाव 2022 से ऐन पहले सपा में शामिल हुए पार्षद जितेंद्र पाल ने चुनाव बाद कांग्रेस में आस्था जता दी, जिन्हें कांग्रेस महानगर अध्यक्ष लोकेश चौधरी ने पार्टी की सदस्यता दिलाते हुए वापस कांग्रेस में वापसी कराई। इस पर जिला कांग्रेस अध्यक्ष बिजेंद्र यादव ने नाराजगी जाहिर करते हुए शिकायत पार्टी हाईकमान से की थी।
महानगर कांग्रेस अध्यक्ष लोकेश चौधरी ने कहा कि महानगर का अलग कार्य क्षेत्र और कार्यालय अलग हैं। हमारे क्षेत्र में नगर निगम गाजियाबाद मेयर और 100 वार्ड आते हैं, जबकि जिला कांग्रेस का कार्यालय और कार्य क्षेत्र अलग है। उनके क्षेत्र में नगर पालिका और नगर पंचायत आते हैं। वैसे सब एकजुट हैं।
कांग्रेस जिलाध्यक्ष बिजेंद्र यादव ने कहा कि जिले में कांग्रेसी एकजुट है, जहां कार्यकर्ताओं और पदाधिकारी निराश हैं उन्हें सक्रिय किया जा रहा है। जहां बदलने की आवश्यकता है बदलने की कसरत की जा रही है। अभी पांच नवंबर के नसीमुद्दीन सिद्दीकी के कार्यक्रम में गैरहाजिर पदाधिकारियों से जवाब मांगा जा रहा है।
ये भी पढ़ें-