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शहर से फिर कटा लाइनपार क्षेत्र, बढ़ी मुश्किल

रेलवे ओवरब्रिज निर्माण के लिए लेबर कॉलोनी में बिना सूचना रोक दी गई सड़क शनिवार से पूरी राह हुई बंद महज एक गली से निकलने का रास्ता फंस रहे हैं वाहन

By JagranEdited By: Published: Sun, 26 Jan 2020 12:05 AM (IST)Updated: Sun, 26 Jan 2020 06:02 AM (IST)
शहर से फिर कटा लाइनपार क्षेत्र, बढ़ी मुश्किल
शहर से फिर कटा लाइनपार क्षेत्र, बढ़ी मुश्किल

जागरण संवाददाता, फीरोजाबाद: लेबर कॉलोनी फाटक पर चल रहा रेलवे पुल निर्माण का काम लाइनपार क्षेत्र में रहने वाली आबादी के लिए मुसीबत बन गया है। बिना किसी पूर्व सूचना के शनिवार से इस क्षेत्र में जाने वाले मुख्य मार्ग को पूरी तरह बंद कर दिया गया। इससे बड़े वाहनों के लिए कोई रास्ता नहीं बचा। छोटे वाहन गलियों से किसी तरह गुजर रहे हैं।

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लाइनपार क्षेत्र के कई मुहल्ले और गांव के लिए लेबर कॉलोनी रेलवे क्रॉसिग से होकर रास्ता जाता है। यहां एक साल से पुल निर्माण का काम चल रहा है। पिलर खड़े करने के लिए मुख्य मार्ग को जगह जगह खोद दिया गया है। इसके बाद भी वाहन दाएं-बाएं से निकल जाते थे। गुरुवार से यह व्यवस्था भी खत्म हो गई। अब हालात ये हैं कि लेबर कॉलोनी तिराहा से पैदल भी नहीं निकला जा सकता। बाइक सवार एवं अन्य छोटे वाहन तिराहा से पहले एक गली से होकर गुजर रहे हैं। पैदल और दुपहिया वाहनों के लिए बनी इस गली में कार और ऑटो जाकर फंस जाते हैं। शनिवार की दोपहर पुलिस और स्कूल के वाहन भी जाम में फंसे नजर आए। इन बस्तियों की राह हुई मुश्किल..

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पुल निर्माण में कार्यदायी संस्था पूरी तरह मनमानी कर रही है। संस्था ने रास्ता तो रोक दिया है, लेकिन कोई वैकल्पिक रास्ता नहीं बनाया है। कार्यस्थल पर डायवर्जन का कोई संकेतक भी नहीं लगवाया गया है। लेबर कॉलोनी में थाना, सहायक श्रमायुक्त कार्यालय, उप डाकघर है। यहां प्रतिदिन बड़ी संख्या में लोग आते हैं।

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एक लाख की आबादी बसती है लाइनपार

लाइनपार क्षेत्र में एक लाख की आबादी निवास करती है। निर्माण इकाई ने लेबर कॉलोनी तिराहा की तीन तरफ से नाकेबंदी कर दी गई है। इससे कॉलोनीवासी भी परेशान हैं। छोटे काम के लिए उन्हें दूर तक घूमकर निकलना पड़ता है। लेबर कॉलोनी के साथ ही वेस्ट ग्लास, संजय नगर, आनंद बिहार, दतौजी खुर्द, दतौजी कलां, राम नगर, आजाद नगर, नगला विष्णु और छारबाग जाने के लिए यहीं मुख्य रास्ता है।

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'निर्माण इकाई ने एक संकेतक तक लगाना जरूरी नहीं समझा है। बड़े वाहन रेलवे फाटक पार कर अंदर आ जाते हैं, यहां कोई रास्ता न होने पर उन्हें लौटना पड़ता है। शनिवार से रास्ता पूरी तरह बंद कर दिया गया है।'

ठा. कौशल किशोर बॉबी, व्यापारी नेता-फोटो-19

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- 'अब रेलवे फाटक खुला होने पर भी आपात स्थिति में फंसा कोई व्यक्ति नहीं निकल सकता। आने जाने का कोई रास्ता ही नहीं छोड़ा है। एक गली पूरा ट्रैफिक नहीं झेल सकती। यातायात नियंत्रित करने के लिए कर्मचारी भी नहीं लगाए गए हैं।'

दीपम अग्रवाल, लेबर कॉलोनी-फोटो-20

------ 'आरओबी पर गार्डर रखे जाना है, जनता की सुरक्षा के लिहाज से एक सप्ताह के लिए रास्ता रोका गया है। क्षेत्रीय दुकानदारों को इसकी जानकारी दे दी गई थी। आवागमन के लिए एक गली है, जिसमें मोरम डलवा दिया गया है।'

- रितिक श्रीवास्तव, सहायक अभियंता सेतु निर्माण निगम


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