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पिछली सरकारों का बेचारा किसान बना भाग्य विधाता : शाही

संवाद सहयोगी, खागा : प्रदेश के कृषि राज्यमंत्री रणवेंद्र प्रताप ¨सह के गांव अल्लीपुर में आयोजित

By JagranEdited By: Published: Fri, 07 Sep 2018 08:02 PM (IST)Updated: Fri, 07 Sep 2018 08:02 PM (IST)
पिछली सरकारों का बेचारा किसान बना भाग्य विधाता : शाही
पिछली सरकारों का बेचारा किसान बना भाग्य विधाता : शाही

संवाद सहयोगी, खागा : प्रदेश के कृषि राज्यमंत्री रणवेंद्र प्रताप ¨सह के गांव अल्लीपुर में आयोजित पांच दिवसीय कृषि प्रदर्शनी एवं विराट किसान मेले का शुभारंभ करते हुए कृषि मंत्री सूर्य प्रताप शाही ने सपा को निशाने पर लेते हुए कहा कि कहा खुद को धरती पुत्र कहलाने वाले भी किसानों का हित नहीं कर सके। तभी तो प्रदेश के अन्नदाता बेचारा बने रहे, हमारी सरकार ने किसानों की पीड़ा को समझा और उनकी आय दूना करने के लिए तकनीक को न केवल खेतों तक पहुंचाया बल्कि पैदावार का मूल्य में भारी इजाफा किया। डेढ़ साल में बीस लाख एमटी उत्पादन बढ़ाकर प्रदेश का किसान देश का भाग्य विधाता बनकर चमका है।

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उन्होंने कहा कि 2014 के कृषि बजट 86 हजार करोड़ को दो साल में बढ़ाकर 2.33 लाख हजार करोड़ कर दिया। पूर्व की सरकार में कर्ज माफी के नाम पर घोटाले हुए, हमारी सरकार में 23941 करोड़ की कर्ज माफी में एक पाई की गड़बड़ी नहीं हुई। प्रदेश सरकार ने किसानों को फसल का बेहतर मूल्य दिलाने के लिए चना, मसूर, मटर आदि फसलों की खरीद की है। उन्होने कृषि राज्यमंत्री रणवेंद्र प्रताप ¨सह का उदाहरण देते हुए किसानों से आह्वान किया कि प्रत्येक किसान अपने संपूर्ण खेती के छोटे से हिस्से में ही जैविक खाद के प्रयोग से फसलों तैयार करें।

कृषि राज्यमंत्री रणवेंद्र प्रताप ¨सह, खागा विधायक कृष्णा पासवान, ¨बदकी विधायक करन ¨सह पटेल, जिलाध्यक्ष प्रमोद द्विवेदी, पूर्व न्याय मंत्री राधेश्याम गुप्त आदि लोगों ने किसानों को संबोधित करते हुए आयोजन के जरिए अधिक से अधिक लाभ उठाने का आह्वान किया। पहले दिन के आयोजन का संचालन बागवानी विभाग के विजय किशोर ¨सह ने किया। आदित्य प्रताप ¨सह, ¨पटू ¨सह, संतोष गुप्त, गिरजेश ¨सह, अन्नू श्रीवास्तव आदि लोग रहे।

जीवामृत, धनामृत बनाने की बताई विधि

कृषि प्रदर्शनी एवं किसान मेले में किसानों को संबोधित करते हुए कृषि राज्यमंत्री रणवेंद्र प्रताप ¨सह ने गोमूत्र, गोबर, गुड़, बेसन तथा विभिन्न प्रकार की दालों के मिश्रण से तैयार होने वाले जीवामृत, धनामृत की विधि समझाई। उन्होने कहा कि जिन किसानों को जैविक खाद के प्रयोग से फसल की पैदावार अच्छी पाने में कोई संशय लग रहा हो, वह हमारे खेतों में जाकर देख सकता है।


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