Move to Jagran APP

भूमिहीन हो गए काश्तकार, कुछ तो करो 'सरकार'

संवाद सूत्र बहुआ शासन और प्रशासन की ड्योढ़ी नापते-नापते कोर्रा कनक के ग्रामीण अब थक चुक

By JagranEdited By: Published: Fri, 22 Oct 2021 08:59 PM (IST)Updated: Fri, 22 Oct 2021 08:59 PM (IST)
भूमिहीन हो गए काश्तकार, कुछ तो करो 'सरकार'
भूमिहीन हो गए काश्तकार, कुछ तो करो 'सरकार'

संवाद सूत्र, बहुआ : शासन और प्रशासन की ड्योढ़ी नापते-नापते कोर्रा कनक के ग्रामीण अब थक चुके हैं। इस गांव व मजरों की करीब 13 हजार बीघे जमीन अब तक कटान के चलते यमुना में समा चुकी है। वहीं, 10 मजरें भी यमुना की जलधार में विलीन हो चुके हैं। कभी बड़े काश्तकार रहे ग्रामीण अब भूमिहीन हो गए हैं। शुक्रवार को ग्रामीणों ने बैठक कर आंदोलन की रणनीति तय की।

loksabha election banner

कोर्रा कनक के मजरे ओनई में हुई बैठक में ग्रामीणों का दर्द व आक्रोश फूट पड़ा। ग्रामीणों ने कहा कि अब तो शासन-प्रशासन से कोई उम्मीद ही नहीं रह गई है। ऐसे में किसका भरोसा करें। जिले की सांसद व केंद्रीय मंत्री साध्वी निरंजन ज्योति भी आश्वासन के सिवाय कुछ नहीं दे पाईं। जिला पंचायत सदस्य मनोज गुप्त ने ग्रामीणों के दर्द को सूबे के सीएम तक पहुंचाने के लिए आश्वस्त किया। सोमेश गुप्ता, रवि करन सिंह, छेद्दी देवी, गुलाब सिंह, धर्मेंद्र सिंह, राम शरण, नरेंद्र कुमार, राजबहादुर, श्याम कुमार, अमर सिंह, बलवीर सिंह, पंचम सिंह, राजेश कुमार, मनमोहन सिंह, करमबीर सिंह, शिव मोहन सिंह, राम राज निषाद, राजोल सिंह, राजेश, शिवसागर प्रसाद, शुभम सिंह, उमाशंकर आदि रहे।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.