थरियांव एल-1 हास्पिटल में 15 कोरोना मरीज भर्ती
कोविड-19 का संक्रमण दिन पर दिन पैर पसार रहा है नतीजा की अब अनुमानित व्यवस्था भी कम होने लगी है। बुधवार को प्रयागराज मंडल की सीटें फुल होने के बाद अब जिलेवार ही मरीज भर्ती कर उपचार करने की शुरूआत की गयी। जिले की थरियांव सीएचसी को कोरोना उपचार के लिए एल-1 फैसिलटी के साथ प्रारंभ कर दिया। मंगलवार के 14 और बुधवार के एक मरीज को मिलाकर यहां कुल 15 बेडों पर इनका उपचार दोपहर बाद प्रारंभ कर दिया।
जागरण संवाददाता, फतेहपुर: कोविड-19 का संक्रमण दिन पर दिन पैर पसार रहा है, नतीजा की अब अनुमानित व्यवस्था भी कम होने लगी है। बुधवार को प्रयागराज मंडल की सीटें फुल होने के बाद अब जिलेवार ही मरीज भर्ती कर उपचार करने की शुरूआत की गयी। जिले की थरियांव सीएचसी को कोरोना उपचार के लिए एल-1 फैसिलटी के साथ प्रारंभ कर दिया। मंगलवार के 14 और बुधवार के एक मरीज को मिलाकर यहां कुल 15 बेडों पर इनका उपचार दोपहर बाद प्रारंभ कर दिया।
एल-1 कोविड हास्पिटल का प्रभारी डा. अनुपम सिंह को बनाया गया है। उनकी देखरेख में 25 सदस्यों वाला मेडिकल दल अगले 15 दिन अस्पताल में ही रुक कर मरीजों का उपचार करेगा। इस दौरान मेडिकल दल का कोई सदस्य अपने घर नहीं जाएगा और न ही घर वालों से मुलाकात करेगा। अस्पताल में आरओ पानी, वेंटीलेटर, आक्सीजन सुविधा के साथ नेमुलाइजेशन, एक्सरे, पैथालॉजी जांच आदि की व्यवस्था है। अस्पताल में तैनात की गयी चिकित्सा टीम को तीन चरणों में बांटा गया है, जो आठ-आठ घंटे की ड्यूटी कर अस्पताल में ही विश्राम करेंगी। 15 दिन की शिफ्ट पूरी होने के बाद यह टीम खागा के यशराज रिसार्ट में 14 दिन के लिए क्वारंटाइन होगी इसके बाद अपने घर वालों से मिल सकेगी या दोबारा ड्यूटी कर सकेगी। उपचार दौरान मरीजों के संपर्क में जाने से पहले सभी को पीपीई किट पहनना अनिवार्य किया गया है।
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गतिविधि पर सीटीटीवी से नजर
-एल-1 हास्पिटल की गतिविधियों पर नजर रखने के लिए सीएमओ ने अस्पताल में सीसीटीवी कैमरे भी लगवाए हैं। जिससे हर गतविधि पर पूरी नजर रखी जा सके। बुधवार की शाम आई रिपोर्ट के अनुसार सभी 15 मरीजों की स्वस्थ्य है। फिलहाल इन्हें कोई दिक्कत नहीं है। उपचार कर दवाएं दी जा रही है।
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डाक्टर जांच के बाद परोसा जाएगा भोजन
-एल-1 अस्पताल में बाहर का कोई आदमी नहीं जाएगा और न ही अंदर का कोई आदमी बाहर आएगा। मरीजों व मेडिकल स्टाफ के लिए भोजन व नाश्ता अंदर ही शुद्धता के साथ बनेगा और वितरित होने से पहले डाक्टर भोजन की शुद्धता जांच करेंगे। पानी सिर्फ आरओ का ही प्रयोग होगा। सुबह नाश्ते में दलिया, चना, पोहा मिलेगा। जबकि दोपहर में दाल, चावल, रोटी व सब्जी तथा शाम को भी इसी मीनू पर भोजन मिलेगा।