Move to Jagran APP

सुप्रीम कोर्ट मध्यस्थता की बात छोड़ अयोध्या में राम मंदिर मामले पर अपना फैसला सुनाए

राम मंदिर मामले में सुप्रीम कोर्ट की मध्यस्थता पहल पर अयोध्या के संत-महंत और पैरोकार तैयार नहीं हैं।

By Nawal MishraEdited By: Published: Wed, 06 Mar 2019 04:58 PM (IST)Updated: Wed, 06 Mar 2019 04:58 PM (IST)
सुप्रीम कोर्ट मध्यस्थता की बात छोड़ अयोध्या में राम मंदिर मामले पर अपना फैसला सुनाए
सुप्रीम कोर्ट मध्यस्थता की बात छोड़ अयोध्या में राम मंदिर मामले पर अपना फैसला सुनाए

अयोध्या, जेएनएन। राम मंदिर मामले में सुप्रीम कोर्ट की मध्यस्थता पहल पर अयोध्या के संत-महंत और पैरोकार तैयार नहीं हैं। ज्यादातर पक्षकारों के सुलह समझौता से मामले के हल उम्मीद नहीं है। वह स्पष्ट इनकार करते हुए कहते हैं कि मामले में राजनीति नहीं होनी चाहिए। उल्लेखनीय कि इस मामले में अब तक कई बार किए गए सुलह समझौता के प्रयास विफल रहे हैं। इसके चलते हिंदू समाज फिर आंदोलन की तरफ मुखातिब होने को तैयार खड़ा है। रामजन्मभूमि न्यास के उत्तराधिकारियों ने तो जल्द ही आंदोलित होकर राम मंदिर निर्माण शुरू करने की घोषणा की है।

loksabha election banner

सुलह नहीं फैसला करे सुप्रीम कोर्ट-अंसारी 

राम मंदिर मामले पर सुप्रीम कोर्ट की मध्यस्थता की पहल पर मामले में मुस्लिम पक्षकार इकबाल अंसारी ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट मध्यस्थता की बात छोड़ कर फैसला करे। मुस्लिम पक्ष सुप्रीम कोर्ट का फैसला मानेगा और उसका सम्मान करेगा। आपसी सुलह का प्रयास तो पहले भी हो चुका है। इस मामले में राजनीति हो रही है।सुप्रीम कोर्ट पक्षकारों, अधिकारियों, वकीलों, साधु-संतों और बुद्धजीवियों को खुद बुलाए। कोर्ट के सामने ही आपसी सुलह की बातचीत हो। हिंदू महासभा पहले ही सुलह से इनकार कर चुका है। वह तो पहले ही समझौता नहीं मानने के लिए तैयार बैठे हैं। इकबाल अंसारी ने कहा कि कोर्ट समझौता कराए तो हम तैयार हैं।

आंदोलन से मंदिर निर्माण-कमल नयन दास

रामजन्मभूमि न्यास अध्यक्ष महंत गोपालदास के उत्तराधिकारी महंत कमल नयन दास ने सुलह समझौते से इनकार किया और कहा जिनका कुछ नहीं वही मध्यस्थता की बात कर रहे हैं। भगवान राम हिंदुओं के आराध्य हैं। समझौता नहीं, हिंदू समाज जल्द ही आंदोलित होकर राम मंदिर निर्माण शुरू करेगा। देश हमारा राष्ट्र हमारा भगवान हमारे हैं फिर रामजन्मभूमि पर मुसलमानों से समझौता कैसे होगा। रामजन्मभूमि कोई लड्डू नहीं जो बांट दिया जाए।

मुसलमान बड़ा दिल दिखाएं-महंत रामदास 

मध्यस्थता पहल पर हिंदू पक्षकार महंत रामदास ने कहा कि मध्यस्थता के लिए सुप्रीम कोर्ट के रिटायर्ड जज को नियुक्त किया जाए जो संवैधानिक रूप से दोनों पक्षों से बातचीत कर मामले का उचित समाधान पेश करे। सुप्रीम कोर्ट का सुझाव स्वागत योग्य है। साथ ही करोड़ों हिंदुओं की भावनाओं का ध्यान रखते हुए मुसलमान पक्षकार बड़ा दिल दिखाएं।

कोर्ट की मंशा साफ नहीं-महंत धर्मदास 

 राम मंदिर मामले पर मध्यस्थता पहल पर हिंदू पक्षकार महंत धर्मदास ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट मध्यस्थता कराए। किसी को नियुक्त करे। मुख्यमंत्री या किसी व्यक्ति विशेष को नियुक्त करे, या फिर स्वयं मध्यस्थता करे। मध्यस्थ अयोध्या की जमीनी हकीकत देखे। चाहे कोर्ट के फैसले से या फिर सुलह से अयोध्या में जल्द राम मंदिर निर्माण हो। फैसले को लेकर सुप्रीम कोर्ट की मंशा साफ नहीं है। 

सुप्रीम कोर्ट पर ही विश्वास-महंत राजकुमार दास 

राम वल्लभा कुंज के अधिकारी महंत राजकुमार दास ने कहा कि सुलह समझौते से कुछ भी निष्कर्ष नहीं निकला ऐसा पूर्व का अनुभव है। हाईकोर्ट के पूर्व जज भी सुलह समझौते का प्रयास कर चुके हैं । हिंदू मुस्लिम दोनों पक्ष सुलह समझौते का प्रयास कर चुके हैं । उस बैठक का कोई नतीजा नहीं निकला। सुप्रीम कोर्ट पर ही विश्वास है। वह जल्द फैसला दे। 


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.