रामनगरी में आकर निहाल हुए संसदीय मामलों के मर्मज्ञ
अयोध्या वे संसदीय मामलों के मर्मज्ञ हैं पर उनका प्रतिनिधि मंडल शनिवार को समर्पित श्रद्धालु की भांति रामनगरी पहुंचा। सरयू के संत तुलसीदासघाट पर पूर्वाह्न रामनगरी की रज का स्पर्श करते ही यह प्रतिनिधि मंडल निहाल हो उठा। इस दल में मलेशिया के सांसद करुपरिय मुतुसामी सहित देश के अनेक राज्यों के विधानसभाध्यक्ष उपाध्यक्ष सचिव और अधिकारी शामिल थे। इनमें से कुछ सपरिवार भी थे। कोई और मौका होता तो शासन के इन नुमाइंदों की हनक का जलवा अफरोज होता पर वे रामनगरी में खालिस श्रद्धालु की भांति भ्रमण करते रहे।
अयोध्या : वे संसदीय मामलों के मर्मज्ञ हैं पर उनका प्रतिनिधि मंडल शनिवार को समर्पित श्रद्धालु की भांति रामनगरी पहुंचा। सरयू के संत तुलसीदासघाट पर पूर्वाह्न रामनगरी की रज का स्पर्श करते ही यह प्रतिनिधि मंडल निहाल हो उठा। इस दल में मलेशिया के सांसद करुपरिय मुतुसामी सहित देश के अनेक राज्यों के विधानसभाध्यक्ष, उपाध्यक्ष, सचिव और अधिकारी शामिल थे। इनमें से कुछ सपरिवार भी थे। कोई और मौका होता तो शासन के इन नुमाइंदों की हनक का जलवा अफरोज होता पर वे रामनगरी में खालिस श्रद्धालु की भांति भ्रमण करते रहे। संत तुलसीदासघाट पर इस दल की अगुवानी जिलाधिकारी अनुज कुमार झा एवं एसएसपी आशीष तिवारी ने जिले के पुलिस एवं प्रशासनिक अमले के साथ की। यह दल लखनऊ में आयोजित कॉमनवेल्थ पार्लियामेंट्री एसोसिएशन के सातवें सम्मेलन में शिरकत के बाद अयोध्या भ्रमण पर था। यात्री निवास में सूक्ष्म जलपान के बाद यह दल दो मिनी बसों पर सवार हो रामभक्तों की शीर्ष पीठ कनक भवन पहुंचा। यहां सभी कनक बिहारी के सम्मुख नतमस्तक हुए। भगवान को भोग अर्पित किया और प्रसाद ग्रहण किया। कनक भवन के बाद इस प्रतिनिधि मंडल ने बजरंगबली की प्रधानतम पीठ हनुमानगढ़ी पहुंच हनुमान जी का एवं रामजन्मभूमि पहुंच रामलला का दर्शन किया। सभी के माथे पर तिलक, हाथों में प्रसाद और आस्था से आपूरित भावभंगिमा बयां कर रही थी कि वे कितने अभिभूत हैं। उनके आस्थागत रुख-रुझान का शिखर अपराह्न पुण्यसलिला सरयू के सहस्त्रधाराघाट पर परिभाषित हुआ। यहां इस दल ने पुण्य सलिला की नित्य महाआरती करने वाली संस्था आंजनेय सेवा संस्थान के अध्यक्ष महंत शशिकांतदास के संयोजन में पुण्य सलिला का पूजन किया एवं आरती की। जल शिरोधार्य कर पुण्य सलिला को काफी देर तक निहारने के बाद आत्मिक तौर पर तुष्ट होने के बाद इस दल को अयोध्या शोध संस्थान ले जाया गया, जहां उन्होंने भगवान राम के विविध रूपों की अनुकृति देखने के साथ भगवान राम की व्यापकता को अनुभूत किया। इस दल में गुजरात विधानसभा के अध्यक्ष एसआर त्रिवेदी, असम विधानसभा के अध्यक्ष हितेंद्रनाथ गोस्वामी, उड़ीसा विधानसभा के डिप्टी स्पीकर रजनीकांत सिंह, सिक्किम विधानसभा के सचिव डॉ. जीपी दहल, लोकसभा के ज्वाइंट डाइरेक्टर अजीत सिंह सिकरवार, सिक्किम विधानसभा के लॉ ऑफीसर वरुण दहल, राजस्थान की विधायक शकुंतला रावत आदि ढाई दर्जन लोग शामिल रहे। तीन दशक पूर्व मैं तब बीएचयू का छात्र था और उसी दौरान मुझे अयोध्या आने का मौका मिला था। इतने वर्षों बाद भगवान राम की नगरी में आकर बहुत अच्छा लग रहा है और इस बीच बहुत कुछ बदला महसूस कर रहा हूं।
डॉ. जीपी दहल, सचिव- सिक्किम विधानसभा
--------------------
यहां आकर बहुत अच्छा लग रहा है। 35 वर्ष पहले लखनऊ के युवा सम्मेलन में शिरकत करने आया था और उसी दौरान अयोध्या आने का सौभाग्य हासिल हुआ था और आज दूसरी बार भगवान राम की नगरी में आकर अभिभूत हूं।
हितेंद्रनाथ गोस्वामी, अध्यक्ष- असम विधानसभा
-----------------------
मुझे पहली बार अयोध्या आने का मौका मिला है। मैं परिवार सहित इस धरती पर आकर स्वयं को धन्य महसूस कर रहा हूं और सच्चाई यह है कि भगवान राम के नाम पर चाहे जो हो, उसका सिर झुक जाता है।
रजनीकांत सिंह, डिप्टी स्पीकर- उड़ीसा विधानसभा
------------------------
लाखों वर्ष पूर्व यहां भगवान राम हुए और उन्होंने जिस धरती पर जन्म लिया, जहां उनका बचपन गुजरा, उस धरती का स्पर्श अत्यंत रोमांचित करने वाला है। मुझे तो वह गीत याद आ रहा है, ठुमक चलत रामचंद्र बाजत पैजनियां..।
- शकुंतला रावत, सदस्य- राजस्थान विधानसभा