परिवार बेखबर, निजी अस्पताल से लापता हो गया बच्चा
फैजाबाद : शहर के एक निजी अस्पताल से नवजात के लापता होने का मामला सामने आया है। घटना गत
फैजाबाद : शहर के एक निजी अस्पताल से नवजात के लापता होने का मामला सामने आया है। घटना गत 13 अप्रैल की है। बच्चे की तलाश व दोषियों पर कार्रवाई के लिए परिवारीजन पुलिस का चक्कर लगाते रहे, लेकिन उसकी सुनवाई नहीं हुई। नवजात के पिता ने अपनी व्यथा नवागत एसएसपी डॉ. मनोज कुमार को बताई। एसएसपी ने प्रकरण को संवेदनशील मानते हुए मुकदमा दर्ज करने का निर्देश दिया। एसएसपी के निर्देश पर दर्ज हुए मुकदमें में अस्पताल के चिकित्सक व पीड़ित के तीन रिश्तेदारों सहित पांच लोगों के खिलाफ अपहरण व अन्य धाराओं में मुकदमा दर्ज कराया गया है। प्रकरण गंभीर होने की वजह से इसकी जांच डिप्टी एसपी स्तर के अधिकारी से कराई जा रही है। एसएसपी ने जांच सीओ सिटी अर¨वद चौरसिया को सौंपी है। जांच में प्रथम ²ष्ट्या सामने आ रहा है कि बच्चा मृत पैदा हुआ था, जिसे बिना मां-पिता के संज्ञान में लाए एक दलाल व रिश्तेदारों ने कहीं ले जाकर दफन कर दिया। ये संवेदनहीन घटना कोतवाली नगर क्षेत्र के मोदहा स्थित एक नर्सिंग होम की है।
मवई थाना क्षेत्र के रामपुरजनक निवासी एक व्यक्ति अपनी पत्नी का प्रसव कराने के लिए जिला महिला अस्पताल लाए थे। महिला की हालत गंभीर देखते हुए वहां चिकित्सकों ने हाथ खड़े कर दिए। सीओ सिटी ने बताया कि जांच में पाया गया है कि महिला अस्पताल में पीड़ित को शिवमूरत नाम का दलाल मिला, जो बेहतर इलाज का भरोसा दिला कर महिला को मोदहा स्थित नर्सिंग होम ले गया। महिला के साथ उसके तीन रिश्तेदार भी मौजूद थे। दलाल ने महिला के रिश्तेदारों को मिला कर नर्सिंग होम में प्रसव के बहाने महिला के पति से करीब 36 हजार रुपये वसूल लिए। प्रसव के बाद महिला को बच्चा नहीं मिला। गूंगी होने की वजह से महिला भी कुछ बता नहीं सकी। पीड़ित की स्थिति कमजोर होने की वजह से उसके विरोध को तत्काल दबा दिया गया। वह अपने बच्चे के बारे में पूछता रहा, लेकिन निजी अस्पताल के कर्मचारियों, दलाल व उसके रिश्तेदारों ने कुछ नहीं बताया। शिकायत लेकर पीड़ित पुलिस के पास भी गया, लेकिन उसकी शिकायत को अनसुना कर दिया गया। सीओ सिटी ने बताया कि एसएसपी के आदेश पर मामले की जांच की जा रही है। चिकित्सक सहित अन्य कर्मचारियों से पूछताछ की गई है। प्रारंभिक जांच में सामने आया है कि बच्चा मृत ही पैदा हुआ था। चिकित्सक को महज 15 हजार रुपये ही प्रसव के मिले थे। बच्चे की प्रसव से दो दिन पूर्व गर्भ में ही मृत्यु हो चुकी थी। नवजात कहां है, इस बारे में चिकित्सक ने भी अनभिज्ञता जाहिर की है। मुकदमा दर्ज है प्रभावी कार्रवाई की जाएगी।