पर्यटन में रोजगार के लिए प्रायोगिक ज्ञान जरूरी :डॉ. मिश्र
रोजगार एवं चुनौतियां पर एक व्याख्यान माला का आयोजन हुआ। मुख्यवक्ता दीनदयाल कोशल केंद्र बनारस हिन्दू विश्वविद्यालय वाराणसी के नोडल अधिकारी डॉ. रत्नशंकर मिश्रा रहे। इस मौके पर कहा कि पर्यटन के क्षेत्र में रोजगार की आपार सम्भावनाएं है। इस पाठ्यक्रम के माध्यम से आप अच्छा रोजगार प्राप्त कर सकते हैं। उन्होनें बताया कि विभाग के छात्रों को प्रयोगात्मक ज्ञान के लिए प्रत्येक सेमेस्टर में विभिन्न इंडस्ट्री में ट्रेनिग दिलायी जाती है जिससे छात्रों को प्रैक्टिकल ज्ञान भी प्राप्त हो सके। उन्होंने कहा कि भारत में पर्यटन से लगभग 1.5 लाख करोड़ की आय होती है। मुख्यवक्ता डॉ. आरएस मिश्रा ने कहा कि पर्यटन छात्रों के लिए ही उपयोगी होगा।इस क्षेत्र में
अयोध्या: डॉ. राममनोहर लोहिया अवध विश्वविद्यालय के एमटीए विभाग में पर्यटन में रोजगार एवं चुनौतियां विषयक व्याख्यानमाला का आयोजन हुआ। मुख्यवक्ता दीनदयाल कोशल केंद्र बनारस हिदू विश्वविद्यालय वाराणसी के नोडल अधिकारी डॉ. रत्नशंकर मिश्र ने कहा, पर्यटन के क्षेत्र में रोजगार की आपार सम्भावनाएं है। छात्रों को प्रयोगात्मक ज्ञान के लिए प्रत्येक सेमेस्टर में विभिन्न इंडस्ट्री में ट्रेनिग दिलाई जाती है। उन्होंने कहा, भारत में पर्यटन से लगभग 1.5 लाख करोड़ रुपये की आय होती है। कहा, छात्रों को विषय ज्ञान के साथ-साथ प्रायोगिक ज्ञान होना अति आवश्यक है। साथ ही अंग्रेजी भाषा का ज्ञान होना भी अनिवार्य है। यदि छात्र अपनी कम्युनिकेशन स्किल डेवलप कर लेते हैं तो उन्हें एक अच्छे पैकेज पर जॉब मिल सकती है। बताया कि पर्यटन में रोजगार की संभावना तेजी से बढ़ रही हैं। कहा कि पर्यटन के क्षेत्र में अनुशासन एवं समयबद्धता का आवश्यक है। इस मौके पर डॉ. देवनारयण वर्मा, डॉ. राजकुमार सिंह, डॉ. मृदुला पांडेय, अभिषेक मौर्य मौजूद रहे।