निरुद्देश्य थी धर्मसभा : सत्येंद्रदास
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अयोध्या : रामलला के मुख्य अर्चक आचार्य सत्येंद्रदास ने रविवार को हुई विहिप की धर्मसभा को निरुद्देश्य बताया है। उन्होंने कहा विहिप और भाजपा में कोई फर्क नहीं है। ऐसे में विहिप की ईमानदारी यह थी कि वह प्रधानमंत्री पर दबाव बनाती कि मंदिर निर्माण के लिए कानून बनाएं। मुख्य अर्चक के अनुसार धर्मसभा में विहिप रामलला की बजाय प्रधानमंत्री और भाजपा की वकालत करती नजर आई।
बकौल सत्येंद्रदास, विहिप यदि राममंदिर के प्रति ²ढ़ होती तो धर्मसभा में यह एलान किया जाना चाहिए था कि 2019 के पूर्व यदि सरकार मंदिर का निर्माण नहीं कराएगी तो विहिप चुनाव में सरकार का पूरी ताकत से विरोध करेगी। उन्होंने मंदिर निर्माण के लिए समझौता के प्रयासों के प्रति नाउम्मीदी भी जताई। कहा, विहिप एवं मुस्लिम पर्सनल ला बोर्ड सहित संबंधित प्रमुख पक्ष पहले ही समझौते की संभावना से इंकार कर चुके हैं।