बूंदाबांदी होने से सड़कों पर पसरा सन्नाटा, बढ़ी सर्दी
जागरण संवाददाता इटावा शनिवार को आसमान में घने बादल छाने से वातावरण में आम जनमानस को स
जागरण संवाददाता, इटावा: शनिवार को आसमान में घने बादल छाने से वातावरण में आम जनमानस को सर्दी का अहसास हुआ। तापमान में बढ़ोत्तरी के बावजूद सर्दी का सितम कम नहीं हुआ। तापमान सुबह न्यूनतम नौ तो दोपहर में अधिकतम 22 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया। शाम के समय बूंदाबांदी होने से सड़कों पर फिसलन होने से आवागमन प्रभावित हो गया। किसान सजगता के साथ फसलों की देखरेख में जुटे हुए हैं।
मौसम विभाग के अनुमान के मुताबिक बूंदाबांदी होने से आम जनमानस ने सर्दी की सिहरन और ज्यादा महसूस की। सुबह से आसमान में घने बादल छाने से लोगों को कंपायमान देखा गया। सुबह दस बजे सूरज ने चमकने का कई बार प्रयास किया लेकिन असफल ही रहे यह सिलसिला अपराह्न तीन बजे तक चला। इसके पश्चात आसमान में फिर से घने बादल छा गए और थोड़ी ही देर में बूंदाबांदी शुरू हो गई। इससे सड़कों पर फिसलन हो गई, जिससे दो पहिया वाहन सवारों का बुरा हाल था।
अलाव में जल रहा है क़ड़ा
सर्द मौसम की मार से आम जनमानस आहत है, प्रशासन और चंद समाजसेवी संस्थाओं ने कड़ाके की सर्दी में कंबल वितरण और अलाव जलवाकर आम लोगों से सराहना करा ली। इसके बाद सब भूल गए, हालात यह है कि अलाव के नाम पर सिर्फ औपचारिकता ही है। लोग सर्दी से बचने को पॉलीथिन युक्त कूड़ा और रबर के पुराने टायर जलाकर आग ताप रहे हैं लेकिन वातावरण में जबरदस्त प्रदूषण फैला रहे हैं। किसान पराली जलाता है तो सेटेलाइट में कैद होकर सजा पाता है। बीते पखवाड़े से समूचे जनपद में पॉलीथिन युक्त कितना कूड़ा जल गया इस ओर किसी ने ध्यान नहीं दिया।
अभी फसलों पर असर नहीं
जिला कृषि अधिकारी अभिनंदन सिंह का कहना है कि अभी कोहरा और बूंदाबांदी से फसलों पर कोई असर नहीं है। पाला या तुषार कहीं नहीं पड़ा है। आलू की फसल काफी हद तक सुरक्षित है। किसान फसलों की देखरेख जुटे हैं। सभी किसानों को निरंतर सजग किया जा रहा है।