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धान की फसल जलमग्न होने का संकट मंडराया

संवाद सूत्र बरालोकपुर बसरेहर ब्लाक में अन्हैया नदी के उफान से किसानों के माथे पर चिता

By JagranEdited By: Published: Sun, 26 Sep 2021 04:06 PM (IST)Updated: Sun, 26 Sep 2021 04:06 PM (IST)
धान की फसल जलमग्न होने का संकट मंडराया
धान की फसल जलमग्न होने का संकट मंडराया

संवाद सूत्र, बरालोकपुर : बसरेहर ब्लाक में अन्हैया नदी के उफान से किसानों के माथे पर चिता की लकीरें उभर आई हैं। पांच दिन पूर्व नदी में उफान आने से कबूली गांव के ग्रामीणों की धान की फसल डूबने लगी थी। इसके बाद फिर से दो दिनों से हो रही रुक-रुक कर बारिश के कारण नदी का जलस्तर बढ़ गया है, जिससे नदी के आसपास खड़ी धान की फसल डूबने का संकट मंडरा रहा है। करीब एक दर्जन से अधिक गांव के किसान चितित हैं। अगर तेज बारिश हुई और जलस्तर बढ़ा तो कई किसानों की धान की फसल इसकी चपेट में आएगी।

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मूंज गांव के किसान कन्हैया लाल, गोपी कुमार, आनंद बाबू, रक्षपाल सहित कई ग्रामीणों ने बताया कि दो दिन से लगातार हो रही बारिश के कारण अन्हैया नदी दोबारा उफान पर आ गई है, जिससे किसानों के सामने अपनी फसल बचाने का संकट पैदा हो गया है। नदी किनारे के पास खेतों में खड़ी धान की फसल में पानी भरना शुरू हो गया है। अगर इसका जलस्तर और बढ़ा तो सैकड़ों बीघा धान की फसल डूब कर नष्ट हो जाएगी। उन्होंने बताया कि यह नदी आसपास के दो दर्जन से अधिक गांव टिसुआदेव, नगला लक्षू, फर्दपुरा, मूंज, कबूली, छतरपुरा, टकीपुरा, रमपुरा सहित कई गांव से होकर निकलती है। इस समय इन गांव के किसानों की धान की फसल पर संकट के बादल मंडरा रहे हैं।

यह नदी मैनपुरी जनपद से होकर भोगनीपुर कानपुर देहात तक जाती है। जिला प्रशासन से किसानों ने मांग की है कि नाला रजबहा का पानी अगर कम नहीं किया गया, तो सैकड़ों किसानों की सैकड़ों बीघा फसल डूब सकती है।


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