कस्तूरबा विद्यालय में बिन रजाई ठिठुर रहीं छात्राएं
हाड़ कंपा देने वाली ठंड में जहां लोगों को गर्म करने में रजाइयां नाकाफी पड़ रही हैं कस्तूरबा आवासीय विद्यालय में छात्राओं को एक अदद रजाई तक नहीं दी गई। हद दर्जे की लापरवाही बरतते हुए उन्हें ओढ़ने के लिए महज कंबल मुहैया कराए गए हैं। मिड डे मील का भोजन भी मीनू से इतर मनमाने ढंग से दिया जा रहा है। इन अव्यवस्थाओं पर एडीएम प्रशासन ने कड़ी नाराजगी जताई है।
एटा, जागरण संवाददाता: ठंड में जहां लोगों को रजाइयां नाकाफी लग रही हैं, कस्तूरबा आवासीय विद्यालय में छात्राओं को एक अदद रजाई तक नहीं दी गई। हद दर्जे की लापरवाही बरतते हुए उन्हें ओढ़ने के लिए महज कंबल मुहैया कराए गए हैं। मिड डे मील का भोजन भी मीनू से इतर मनमाने ढंग से दिया जा रहा है। इन अव्यवस्थाओं पर एडीएम प्रशासन ने कड़ी नाराजगी जताई है।
सोमवार दोपहर के समय एडीएम प्रशासन विवेक कुमार मिश्रा हरचंदपुर कलां स्थित कस्तूरबा गांधी आवासीय विद्यालय का निरीक्षण करने पहुंचे। परिसर में सफाई व्यवस्था संतोषजनक नहीं थी। इसे सुधारने की हिदायत दी। लेखाकार ललिता बघेल गैरहाजिर थीं। यहां नामांकित कुल 100 छात्राओं में से 81 उपस्थित थीं। बताया गया कि शेष छात्राएं अवकाश या बीमारी के कारण घरों को गई हैं। एडीएम ने शिक्षण कार्य और रहन-सहन के बारे में छात्राओं से पूछताछ की। इस पर छात्राओं ने जो बताया, उसे सुन एडीएम भी हैरान रह गए। छात्राओं का कहना था कि पूरी सर्दियों उन्हें रजाई ही नहीं दी गई। केवल पतले कंबल ही उपलब्ध कराए गए, जिनसे सर्दी नहीं बचती और ठंड का समय मुश्किल से कट रहा है। इस पर एडीएम ने कड़ी नाराजगी जताई। शिक्षिकाओं ने बताया कि 50 रजाइयों के लिए बेसिक शिक्षा अधिकारी को पत्र भेजा था। लेकिन रजाइयों की व्यवस्था के संबंध में निर्देश नहीं मिले हैं। इसके अलावा मिड डे मील व्यवस्था भी गड़बड़ मिली। मीनू के अनुसार सोमवार को रोटी, मौसमी सब्जी, मिक्स दाल, चावल और खीर बनाकर दी जानी थी। लेकिन रोटी, आलू-गोभी की सब्जी और चावल ही बनाए जा रहे थे। एडीएम ने बताया कि अनुपस्थित लेखाकार के विरुद्ध कार्रवाई के लिए डीएम को रिपोर्ट दी है। वहीं, रजाई और मिड डे मील को लेकर बीएसए को पत्र भेजा है। हिदायत दी गई है कि ठेकेदार को मीनू के अनुसार ही भोजन उपलब्ध कराने की व्यवस्था की जाए।