चित्रकूट में ट्रैक्टर-ट्राली पलटने से दो की मौत, 30 घायलों में 12 गंभीर
चित्रकूट के नया गांव थानाक्षेत्र में गुरुवार सुबह बगदरा घाटी पर अनियंत्रित ट्रैक्टर ट्राली पलटने से चालक और किशोर श्रद्धालु की मौत हो गई। 30 घायल हो गए।
चित्रकूट, जेएनएन। उत्तर प्रदेश की विख्यात धार्मिक नगरी चित्रकूट में गुरुवार को ट्रैक्टर-ट्राली पलटने से दो लोगों की मौत हो गई। इस हादसे में 30 लोग घायल है, जिनमें से 12 की हालत गंभीर है। सभी का जिला अस्पताल में इलाज चल रहा है।
चित्रकूट की सीमा से सटे मध्यप्रदेश के सतना जिला अंतर्गत चित्रकूट के नया गांव थानाक्षेत्र में गुरुवार सुबह बगदरा घाटी पर अनियंत्रित ट्रैक्टर ट्राली पलटने से चालक और किशोर श्रद्धालु की मौत हो गई। 30 घायल हो गए। इनमें एक दर्जन की हालत गंभीर बताई जा रही है। एंबुलेंस से सभी को जिला अस्पताल चित्रकूट लाया गया है।
चित्रकूट के पहाड़ी थानांतर्गत ममसी खुर्द निवासी ट्रैक्टर चालक कल्लू गांव के करीब तीन दर्जन लोगों को लेकर बुधवार सुबह मैहर दर्शन के लिए गया था। गुरुवार सुबह वापस आते समय बगदरा घाटी के पास ढाल पर चालक ने ट्रैक्टर को न्यूट्रल कर दिया। इससे ट्रैक्टर ट्राली बेकाबू होकर पलटने से 17 वर्षीय सूरजभान पुत्र शिव चंद की मौत हो गई। इस दुर्घटना के कारण घटनास्थल पर अफरा-तफरी का माहौल बन गया। आसपास के लोगों ने एमपी पुलिस की मदद से ट्रैक्टर ट्राली को सीधा कराकर अंदर दबे लोगों को बाहर निकाला।
जिला अस्पताल में भर्ती 60 वर्षीय चुनकावन, 45 वर्षीय सूरज कली पत्नी रामकेश, 30 वर्षीय हेमराज पुत्र लालू यादव, सात वर्षीय पुष्पेंद्र पुत्र राम नरेश समेत एक दर्जन की हालत गंभीर है। इलाज के दौरान जिला अस्पताल में ट्रैक्टर चालक 25 वर्षीय कल्लू पुत्र ननकू निवासी ममसी खुर्द की भी सांसे उखड़ गईं। 60 वर्षीय महिला कमला देवी पत्नी राम सिंह को परिजन ढूंढते रहे पर कुछ पता नहीं चलने से बेहाल दिखाई पड़े। जिला अस्पताल में हर शख्स की आंखें नम हो गईं।
सीएमएस डॉ एसएन मिश्र ने खुद इमरजेंसी पहुंच कर मरीजों का उपचार किया। बताया कि करीब एक दर्जन लोगों को ज्यादा चोटें आई हैं। बाकी को मामूली चोटों को लेकर प्राथमिक उपचार कर दिया गया है।
एंबुलेंस चालकों ने दिखाया बेहतर काम, बची कई की जान
सुबह करीब छह बजे बगदरा घाटी सतना मध्यप्रदेश में हादसे में चित्रकूट के लोगों के घायल होने की खबर पर जिले 108 और 102 एंबुलेंस प्रभारी अनुराग अग्रहरि ने सक्रियता दिखाई। चालकों को बेहतरी के निर्देश देकर खुद भी पहुंच गए। इससे घायलों को जल्दी अस्पताल पहुंचाया जा सका।
फौरन इलाज मिलने से गंभीर घायलों को बचाने में मदद मिली वरना मृतक संख्या बढ़ सकती थी। इससे एंबुलेंस को लेकर सराहना होती रही। एंबुलेंस प्रभारी ने बताया कि हमेशा तत्परता से काम कराते हैं। कभी कभी दूर दराज में फंसे होने से भले कुछ देरी हो जाती है।