अंडरपास की मांग को ग्रामीणों ने रोका रेलवे कॉरीडोर का काम
ककोड़ क्षेत्र के गांव भौरा के ग्रामीणों ने रेलवे लाइन पर अंडरपास बनाने क
बुलंदशहर, जेएनएन। ककोड़ क्षेत्र के गांव भौरा के ग्रामीणों ने रेलवे लाइन पर अंडरपास बनाने की मांग को लेकर डेडीकेटेड फ्रेट कॉरीडोर का काम रुकवा दिया। जमकर हुए हंगामे के बीच एसडीएम रविशंकर सिंह व प्रोजेक्ट मैनेजर ने ग्रामीणों से वार्ता कर हंगामे का शांत कराया। शीघ्र अंडरपास बनवाने का आश्वासन दिया।
दादरी गौतमबुद्धनगर से खुर्जा तक बन रहे रेलवे डेडीकेटेड फ्रेट कॉरीडोर ककोड़ व चोला होकर गुजर रहा है। इसके लिए गांव भौरा में निर्माण कार्य चल रहा है। ग्रामीणों ने बताया कि गांव की अधिकांश खेती रेलवे लाइन के दूसरी ओर है, जहां पहले से अंडरपास बना है। लेकिन रेलवे कॉरीडोर के बिछ रही नई लाइन का पार करने के लिए अंडरपास नहीं बनाया जा रहा है। इससे ग्रामीणों के लिए रेलवे लाइन पार करना कठिन होगा। कई बार मांग के बावजूद रेलवे कॉरीडोर के अधिकारियों द्वारा सुध नहीं लिए जाने और तेजी से काम चलने पर भड़के ग्रामीणों ने शनिवार की सुबह साढे दस बजे गांव में चल रहे काम को रूकवा दिया। अंडरपास बनाने की मांग को लेकर हंगामा शुरू कर दिया। कार्य में जुटे कर्मियों व ग्रामीणों के बीच बढ़ते विवाद की सूचना पर एसडीएम रविशंकर सिंह मौके पर पहुंचे। साइट के प्रोजेक्ट मैनेजर सीमर सिंह को मौके बुलाते हुए ग्रामीणों से वार्ता की। आधा घंटे चली वार्ता के बाद एसडीएम रविशंकर सिंह ने ग्रामीणों को शीघ्र अंडरपास का काम शुरू होने का आश्वासन देकर शांत कराया, इसके बाद ही निर्माण फिर से शुरू हो सका। एसडीएम रविशंकर सिंह ने बताया कि अंडरपास प्रोजेक्ट में शामिल है। लेकिन ग्रामीणों उनकी मांग को दनकिनार किए जाने को लेकर आशंकित थे। प्रोजेक्ट मैनेजर एक सप्ताह में अंडरपास का काम शुरू होने की जानकारी दी है। वार्ता के दौरान पप्पू प्रधान, हरीश, लेखराज, मेघराज, सुखबीर, ज्वाला पंडित, मुन्नी, जगदीश, नेमपाल, हंसराज, नेत्रपाल, सुभाष, ऋषिपाल आदि ग्रामीण मौजूद रहे।