ठंड में ठिठरे सूर्यदेव, नहीं हुआ दीदार
दो दिनों से जिले के लोग कड़ाके की ठंड के चपेट में हैं। ऐसा लग रहा है कि ठंड में सूर्यदेव भी ठिठुर गए हैं।
बुलंदशहर, जेएनएन : दो दिनों से जिले के लोग कड़ाके की ठंड के चपेट में हैं। ऐसा लग रहा है कि ठंड में सूर्यदेव भी ठिठुर गए हैं। तापमान में लगातार गिरावट आ रही है। जिले में मंगलवार को तापमान 17 डिग्री सेल्सियस अधिकतम और न्यूनतम 08 डिग्री सेल्सियस पहुंच गया है। शीतलहर चलने से बच्चों और बुजुर्गो में बीमारी होने का भी खतरा बढ़ गया है। इसलिए जिला अस्पताल के फिजीशियन डॉक्टर चंद्र प्रकाश सिंह बताते हैं कि ठंड से बचने के लिए सिर्फ गर्म कपड़े ही काफी नहीं है, खान-पान और बचाव भी बेहद जरूरी है।
शहर में मात्र छह रैन बसेरे
नगर पालिका की तरफ से शहर के रोडवेज बस स्टैंड, जिला अस्पताल, भूड़ चौराहा, काला आम, बाईपास, स्याना अड्डा आदि स्थानों पर रैन बसेरे की सुविधा की हुई है। यहां पर रोजाना 100 से 150 लोगों के ठहरने की व्यवस्था की गई है। इन रैन बसेरों में फोल्डिग के अलावा गद्दे व रजाई की भी व्यवस्था की गई है। इसके अलावा अधिकारियों ने कुछ सामाजिक संगठनों से भी शहर में रैन बसेरे लगवाने के लिए अपील की हुई है।
हीटर का न करें इस्तेमाल
जिला अस्पताल के बाल रोग विशेषज्ञ डॉक्टर एमपी सिंह बताते हैं कि ठंड के मौसम में बच्चे के लिए हीटर का प्रयोग न करें। क्योंकि, बच्चा हीटर के पास से जब कमरे से बाहर जाएगा तो उसे सर्द-गर्म हो सकता है। जिससे खांसी, जुकाम हो सकता है। इसलिए यदि बच्चे को गर्म स्थान पर रखना है तो सबसे बेहतर कपड़े ही है।
ठंड लगने से यह हो सकती है बीमारी
जिला अस्पताल के फिजिशियन डॉक्टर चंद्रप्रकाश का कहना है कि सर्दी के मौसम में बच्चों और बुजुर्गों में इंफ्लूएंजा, वायरल, अस्थमा, ब्रोंकाइटिस आदि बीमारी हो सकती है। इनसे बचने के लिए ठंड से बचना बेहद जरूरी है। ठंड के मौसम में घरेलू उपचार भी करने चाहिए। उनका कहना है कि अदरक, तुलसी का खान-पान की वस्तुओं में इस्तेमाल जरूर करे।