ग्राम प्रधान 10 नवंबर से आंदोलन को तैयार
नजीबाबाद: वित्त आयोग द्वारा ग्राम पंचायतों में विकास कार्यों के लिए जारी वित्तीय वर्ष में अब तक धनर
नजीबाबाद: वित्त आयोग द्वारा ग्राम पंचायतों में विकास कार्यों के लिए जारी वित्तीय वर्ष में अब तक धनराशि अवमुक्त नहीं की गई है। गांवों में विकास कार्य ठप होने पर गुस्साए ग्राम प्रधानों ने स्थिति पर नाराजगी जताई। ग्राम प्रधानों ने 10 दिन के भीतर विकास कार्यों के लिए धनराशि अवमुक्त न होने पर कामकाज बंद कर 10 नवंबर से अनिश्चितकालीन धरना-प्रदर्शन शुरू करने का ऐलान कर दिया।
नजीबाबाद विकास खंड की 131 ग्राम पंचायतों में मनरेगा के कार्यों को छोड़कर अन्य विकास कार्य ठप हैं। ग्राम प्रधानों का आरोप है कि सरकार से विकास धनराशि न मिलने से उन्हें जनता का विरोध झेलना पड़ रहा है। ग्राम प्रधान संघ के अध्यक्ष रोहिताश ¨सह की अध्यक्षता में हुई बैठक में ग्राम प्रधान हरप्रीत ¨सह संधू ने कहा कि सरकार विकास के नाम पर जनता को सपने दिखा रही है। छह महीने से ग्राम पंचायतों में विकास कार्यों के लिए वित्त आयोग से धनराशि नहीं भेजी गई है। उन्होंने अधिकारियों के बेलगाम होने और सब कुछ गोलमाल होने का आरोप लगाते हुए रोष जताया।
ग्राम प्रधान सुशील चौहान ने कहा कि सरकार ने प्रधानों को अपनी मुहर बनाकर रख दिया है। वर्तमान ग्राम प्रधानों द्वारा काफी प्रयास कर अपने-अपने क्षेत्र में आवास से वंचित वास्तविक पात्रों की सूची प्रशासन को उपलब्ध कराई थी, लेकिन उनके द्वारा प्रस्तावित एक भी आवास अब तक नहीं बना। प्रधान पति हिमांशू राजपूत ने कहा कि वित्त आयोग में जबरन मनरेगा को जोड़कर कार्य कराने के लिए आदेशित किया जा रहा है। बैठक में निर्णय लिया गया कि यदि मनरेगा को विकास कार्यों से जुड़े वित्त आयोग से अलग नहीं किया गया, तो 10 नवंबर से अनिश्चितकालीन धरना प्रदर्शन शुरू कर सभी कार्य बंद कर दिए जाएंगे। बैठक में तपराज ¨सह, मो.खादिम, अब्दुल हई, मिद्दू, खुशनूदा, क्रांति देवी, लटूर ¨सह, प्रधान पति हिमांशू राजपूत आदि मौजूद रहे।