दिल्ली की आग में घिरे मुशर्रफ ने दोस्त को किया था फोन, कहा था हम नहीं बचेंगे Bijnore News
दस वर्षों से दिल्ली में बैग बनाने का कार्य कर रहे बिजनौर निवासी मुशर्रफ पुत्र अब्दुल वाहिद की दिल्ली में रविवार की सुबह आग लगने से मौत हो गई।
बिजनौर, जेएनएन। पिछले दस वर्षों से दिल्ली में बैग बनाने का कार्य कर रहे रायपुर सादात के टांडा माईदास निवासी मुशर्रफ पुत्र अब्दुल वाहिद की दिल्ली में रविवार की सुबह आग लगने से मौत हो गई। मृतक की शादी 2010 में बढ़ापुर थाने के ग्राम गोपीवाला में हुई थी। मुशर्रफ के तीन पुत्री और एक पुत्र है। मौत की खबर मिलते ही पूरे गांव में शोक की लहर दौड़ गई।
आग से घिरने के बाद आया था फोन
मुशर्रफ की पत्नी इमराना, मां रहमत और बच्चों का रो रोकर बुरा हाल है। खबर मिलते ही उसके परिजन प्रधानपति फुरक़ान सलीम के साथ दिल्ली हॉस्पिटल में पहुच गए है। रविवार तड़के 5-30 बजे मुशर्रफ का फोन दोस्त शोभित के पास आया था। उसने फोन पर बताया था कि हम चारों ओर से आग में घिर गए है। हमारा बचना नामुमकिन है। फुरक़ान ने बताया कि उस समय वह बहुत रो रहा था। बीच में ही उसका फोन कट गया। फिर काफी कोशिश की लेकिन फोन नही लगा। इसके बाद उन्हें उसकी मौत की खबर मिली।