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कैकेई-मंथरा संवाद ने दर्शकों का मन मोहा

मर्यादा पुरुषोत्तम श्रीराम को 14 वर्ष के वनवास के लिए दासी मंथरा ने ही रानी कैकेई को उकसाया था। मंथरा के उकसावे में आकर ही कैकेई ने राजा दशरथ से राम को वनवास और भरत को राजगद्दी मांगी थी। बुधवार रात रामलीला मंचन के दौरान कलाकारों ने इस लीला को जीवंत कर दिया।

By JagranEdited By: Published: Thu, 22 Oct 2020 09:50 PM (IST)Updated: Thu, 22 Oct 2020 09:50 PM (IST)
कैकेई-मंथरा संवाद ने दर्शकों का मन मोहा
कैकेई-मंथरा संवाद ने दर्शकों का मन मोहा

बिजनौर जेएनएन। मर्यादा पुरुषोत्तम श्रीराम को 14 वर्ष के वनवास के लिए दासी मंथरा ने ही रानी कैकेई को उकसाया था। मंथरा के उकसावे में आकर ही कैकेई ने राजा दशरथ से राम को वनवास और भरत को राजगद्दी मांगी थी। बुधवार रात रामलीला मंचन के दौरान कलाकारों ने इस लीला को जीवंत कर दिया।

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नांगल स्थित बाजार वाली धर्मशाला में आयोजित रामलीला देखने के लिए नांगल, जीतपुर, शहजादपुर, खानपुर आदि क्षेत्रों से बड़ी संख्या में श्रद्धालु पहुंचे थे। राजपाल सिंह ने मंथरा, वरुण ने कैकेई, पीतम सिंह ने दशरथ, डा.जितेंद्र ने सुमंत की भूमिका निबाही। जनेश कुमार, नरेंद्र सिन्हा, अवनी जोशी, अमित प्रजापति, संजय वाल्मीकि, सतीश वाल्मीकि, अंकित जोशी आदि का सहयोग रहा। नांगलसोती में दशकों से पारंपरिक रामलीला मंचन होता चला आ रहा है। यहां के कलाकार धनुष यज्ञ, राम वनवास, रावण-बाणासुर संवाद, अंगद-रावण संवाद आदि लीलाओं का प्रदर्शन बहुत ही सुंदर ढंग से करते हैं। जिसे देखने के लिए दूरदराज क्षेत्रों से भी रामभक्त नांगलसोती पहुंचते हैं।


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