श्रीराम मंदिर निर्माण को भूमि पूजन के साक्षी बने चंपतराय
किसी ने सोचा भी नहीं होगा कि नगीना की गलियों में पला-बढ़ा पतला दुबला सामान्य सा बालक चंपत राय बंसल एक दिन अयोध्या में करोड़ों हिदुओं के आराध्य मर्यादा पुरुषोत्तम श्रीराम मंदिर के निर्माण में अहम किरदार निभाएगा। बुधवार को यह घड़ी आ गई।
बिजनौर, जेएनएन। किसी ने सोचा भी नहीं होगा कि नगीना की गलियों में पला-बढ़ा पतला, दुबला सामान्य सा बालक चंपत राय बंसल एक दिन अयोध्या में करोड़ों ¨हदुओं के आराध्य मर्यादा पुरुषोत्तम श्रीराम मंदिर के निर्माण में अहम किरदार निभाएगा। बुधवार को यह घड़ी आ गई। जिस वक्त प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी अयोध्या में श्रीराम मंदिर निर्माण को भूमि पूजन कर रहे थे, उस वक्त चंपत राय इस पूजन के साक्षी बने हुए थे।
नगीना के मोहल्ला सरायमीर निवासी चंपत राय बंसल का झुकाव बचपन से ही आरएसएस की ओर था। शिक्षा-दीक्षा पूरी होने के बाद वह धामपुर के आरएसएम कॉलेज में प्रवक्ता रहे। आपातकाल के दौरान 18 माह तक जेल में रहे। उन्होंने 1980-81 में नौकरी से त्यागपत्र दिया और संघ के प्रचारक बन गए। वह देहरादून और सहारनपुर में प्रचारक रहे। 1985 में मेरठ के विभाग प्रचारक रहे। 1986 में संघ के शीर्ष नेतृत्व के निर्देश पर वह विहिप में प्रांत संगठन मंत्री बनाए गए। 1991 में क्षेत्रीय संगठन मंत्री बनाए जाने के साथ-साथ उन्हें अयोध्या भेज दिया गया। 1996 में विहिप के केंद्रीय मंत्री, 2002 में पहले संयुक्त महामंत्री और बाद में अंतराष्ट्रीय महामंत्री बनाए गए। वर्तमान में चंपत राय बंसल विहिप के अंतर्राष्ट्रीय उपाध्यक्ष और राम जन्म मंदिर निर्माण के ट्रस्ट के महासचिव हैं। श्रीराम जन्मभूमि आंदोलन से लेकर सर्वोच्च न्यायालय तक श्रीरामलला के मुकदमे में विजय और राममंदिर निर्माण का नया अध्याय लिखे जाने तक उनकी अहम भूमिका रही। सुप्रीम कोर्ट से श्रीराम जन्मभूमि के पक्ष में निर्णय आने के बाद से ही वह अयोध्या में प्रवास कर रहे हैं। उनकी भव्य मंदिर के मानचित्र को अंतिम रूप देने, भूमि पूजन की तिथि का निर्धारण एवं 200 अतिविशिष्ट अतिथियों को न्योता भेजने में महत्वपूर्ण भूमिका रही। बुधवार को पूजन के दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, यूपी की राज्यपाल आनंदी बेन, मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के साथ उनकी उपस्थिति ने नगीना को गौरवान्वित किया है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने भी मंच से संबोधन के दौरान चंपत राय का नाम लिया।