कालीन नगरी की सूरत बिगाड़ रहा प्रतिबंधित पालीथिन
जागरण संवाददाता भदोही पालीथिन को प्रतिबंधित कर इसके उपयोग पर रोक लगाई गई है। इसके बा
जागरण संवाददाता, भदोही : पालीथिन को प्रतिबंधित कर इसके उपयोग पर रोक लगाई गई है। इसके बाद भी कालीन नगरी भदोही पालीथिन से मुक्त नहीं हो पा रहा है। प्रशासन प्रतिबंध लगाने में नाकाम साबित हो रहा है। दुकानदार से लेकर ग्राहक तक धड़ल्ले से उपयोग कर रहे हैं, जिससे प्रदूषण की समस्या बढ़ रही है तो नालियों में फंसने जलनिकासी बाधित हो रही है। बेजुबानों के स्वास्थ्य के लिए भी यह घातक साबित हो रहा है। शुरुआती दौर में जांच तेजी दिखाई गई थी लेकिन चंद दिन बाद सब ठंडे बस्ते में जा पहुंचा। जिम्मेदार शांत पड़ गए।
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वसूला था 8000 जुर्माना
- पालीथिन पर अंकुश के लिए वर्ष भर पूर्व चले अभियान में 32 दुकानदारों से 8000 रुपये जुर्माना वसूला गया था। इसके बाद न तो अभियान चला न ही कार्रवाई हुई।
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पशुओं के लिए है घातक
- पालीथिन पशुओं के लिए भी घातक है। उपमुख्य पशु चिकित्साधिकारी डा. महेंद्र प्रताप सिंह ने बताया कि भोजन आदि लगने होने से पशु इसे खा लेते हैं। जबकि यह पचता नहीं है। पशु टिम्पैनी रोग से ग्रसित हो जाते हैं। उनकी भूख मर जाती है तथा पेट फूलने लगता है। कुछ दिनों के बाद उनकी मौत हो जाती है। आपरेशन के अतिरिक्त इसका कोई उपचार भी नहीं है।
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- लाकडाउन से पहले अभियान चला था। फिर पालीथिन का उपयोग होने लगा है। जल्द ही रोकथाम के लिए कारगर कदम उठाया जाएगा। -
आशीष मिश्रा, एसडीएम भदोही।