कोरोना मरीजों के लिए वरदान साबित होगी पोर्टेबुल एक्स-रे मशीन
महर्षि वशिष्ठ मेडिकल कालेज के चिकित्सा इकाई में कैली में दी गई सुविधा
जागरण संवाददाता, सोनूपार, बस्ती : कोरोना वायरस से पीड़ित मरीजों के लिए पोर्टेबल एक्स-रे मशीन जीवन रक्षक बनकर सामने आएगी। स्वास्थ्य विभाग ने डिजिटल पोर्टेबल एक्स-रे मशीन को महर्षि वशिष्ठ मेडिकल कालेज के चिकित्सा इकाई ओपेक चिकित्सालय कैली के नए भवन में बने कोविड-19 अस्पताल में लगाया गया है।
कोरोना रोगी के भर्ती होते ही बेड पर सीने का एक्स-रे लिया जाता है और बीमारी को पकड़ कर इलाज शुरू कर दिया जाता है। अब नई मशीन के इंस्टालेशन के बाद मरीजों को इसका लाभ रविवार से मिलने लगेगा। मेडिकल कालेज के कोविड वार्ड प्रभारी प्रोफेसर जीएम शुक्ल ने बताया कि कोरोना संक्रमण होने के बाद पीड़ित व्यक्तियों के निमोनिया होने का खतरा बढ़ जाता है। कुछ संक्रमण रोगियों में निमोनिया का लक्षण दिखाई देता है। कुछ में निमोनिया के लक्षण नहीं दिखाई देते हैं। ऐसे में चिकित्सक निमोनिया का इलाज नहीं करते हैं। अंतिम समय में निमोनिया का पता चलता है, तब तक देर हो चुकी होती है। ऐसे में रोगी को बचाना मुश्किल हो जाता है। रोगियों का समय से निमोनिया का पता चल जाता तो उसे इलाज कर बचाया जा सकता था। कोविड अस्पताल में निमोनिया की बारे में जानकारी करने के लिए सीने का एक्स-रे जरूरी होता है। कोविड सेंटर में लगे डिजिटल पोर्टेबल एक्स-रे मशीन से अब भर्ती होते ही मरीज के सीने का एक्स-रे किया जा सकेगा। एक्स-रे में निमोनिया पाए जाने पर उसका भी इलाज साथ-साथ किया जाएगा। निमोनिया पीड़ित रोगियों को चिह्नित कर समय से इलाज कर बचाया जा सकेगा। कोरोना मरीजों को इस सुविधा से राहत मिलेगी।