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यहां तो दोपहर में खुलता है अस्पताल

आयुर्वेदिक अस्पताल सुकरौली पांडेय कर्मचारियों की लेट लतीफी की वजह से मरीजों की दुश्वारियों का कारण बन गया है। शुक्रवार को सुकरौली प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र पर स्थित आयुर्वेदिक अस्पताल में दिन में 11.30 बजे ताला बंद था। थोड़ी देर बाद वार्ड ब्वाय दिनेश मिश्र ने अस्पताल का ताला खोला।

By JagranEdited By: Published: Fri, 11 Jan 2019 11:19 PM (IST)Updated: Fri, 11 Jan 2019 11:19 PM (IST)
यहां तो दोपहर में खुलता है अस्पताल
यहां तो दोपहर में खुलता है अस्पताल

बस्ती: आयुर्वेदिक अस्पताल सुकरौली पांडेय कर्मचारियों की लेट लतीफी की वजह से मरीजों की दुश्वारियों का कारण बन गया है। शुक्रवार को सुकरौली प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र पर स्थित आयुर्वेदिक अस्पताल में दिन में 11.30 बजे ताला बंद था। थोड़ी देर बाद वार्ड ब्वाय दिनेश मिश्र ने अस्पताल का ताला खोला। उसके बाद फार्मासिस्ट रमेश ¨सह पहुंचे। पहले से मौजूद मरीज रामचंद्र प्रदीप, कुमार पांडेय, खदेरू प्रसाद, अनीषा, साहिजा ने बताया कि ज्यादातर यहां पर अस्पताल के कर्मचारी 12 बजे आते हैं। ऐसी दशा में 2 घंटे से अधिक इंतजार करना पड़ता है। फार्मासिस्ट रमेश ¨सह ने बताया कि अस्पताल में किसी चिकित्सक की तैनाती नहीं है। मुख्यालय का काम भी मुझे ही देखना पड़ता है। निजी व्यस्तता के चलते अस्पताल पहुंचने में देरी हो जाती है। मरीज भी 1 बजे के बाद ही आते हैं। सर्दी का मौसम होने के कारण थोड़ी देरी हो जाती है। जिला आयुर्वेदिक चिकित्सा अधिकारी डा.अशोक श्रीवास्तव का कहना है यदि अस्पताल पर कोई कर्मचारी 10 बजे तक नहीं पहुंचता है तो जांच कर कार्रवाई की जाएगी।

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