कान्हा बने अहद सींच रहे सौहार्द, राधा बनने के लिए उत्साहित दानिया Bareilly News
मासूम अहद जब कान्हा बनने की जिद करें और नर्सरी में पढऩे वाली दानिया राधा की... तो सुकून कर लीजिए कि आने वाली पीढ़ी भी हमारे सामाजिक सौहार्द को सींचती जाएगी।
बरेली, [अविनाश चौबे] : पर्व तो उत्साह और उमंग और खुशियां साझा करने के लिए हैं। इनमें समुदाय या संप्रदाय की दीवारें भला कहां टिक पाती हैं...यही हमारी पहचान है और यही इस शहर की खूबसूरती भी। मासूम अहद जब कान्हा बनने की जिद करें और नर्सरी में पढऩे वाली दानिया राधा की... तो सुकून कर लीजिए कि आने वाली पीढ़ी भी हमारे सामाजिक सौहार्द को सींचती जाएगी। महसूस करके देखिए। कान्हा के स्वरूप में ये बच्चे जितने खुश हैं, उससे ज्यादा उनके परिजन...और उससे भी ज्यादा वे आयोजक जो जन्माष्टमी का सालभर इंतजार करते हैं।
शुक्रवार को स्कूलों में ऐसे ही सुखद दृश्य देखने को मिले। पल्र्स स्कूल के अहद और दानिया कृष्ण-राधा के कपड़ों में फूले नहीं समा रहे थे। प्रेम नगर स्थित सेक्रेड हार्ट में भी ऐसा ही माहौल था।
सोशल मीडिया पर पोस्ट कर रहे फोटो
अपने बच्चों को कान्हा और राधा स्वरूप बनाने की खुशी लोग सोशल मीडिया पर भी साझा कर रहे हैं। शुक्रवार को कई मुस्लिम समाज के लोगों ने अपने बेटों के कृष्ण स्वरूप के फोटो सोशल मीडिया के एकाउंट्स पर शेयर की। इसके साथ ही सभी को जन्माष्टमी की बधाई भी दी।
रहता है जन्माष्टमी महोत्सव का इंतजार
लाल फाटक निवासी नदीम अहमद ने बताया कि उनके दो बेटे हैं, जोकि पल्र्स स्कूल में पढ़ते हैं। स्कूल में प्रतिवर्ष होने वाले जन्माष्टमी महोत्सव का इंतजार रहता है। बड़े बेटे अहद को कान्हा स्वरूप में सजाकर स्कूल भेजते हैं। वह भी उत्साहित रहता है।
पहली बार राधा बनने को रही उत्साहित
आजमनगर निवासी नूरी सलाम ने बताया कि उनकी बेटी दानिया नर्सरी में पढ़ती है। पहली बार जन्माष्टमी महोत्सव में भाग लिया। राधा बनने को लेकर काफी उत्साहित रही। रात से सिर्फ एक ही जिद थी, जल्दी से राधा स्वरूप में सजा दो।