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CMO का नाम लेकर ACMO ने झोलाछाप से वसूले 55,000, चौके सीएमओ, बोले- करेंगे जांच Bareilly News

गांवों में झोलाछाप पर रोकथाम क्यों नहीं लग पा रही इसकी बड़ी वजह सोमवार को सामने आती दिखी। सीएमओ कार्यालय पहुंचे एक झोलाछाप ने स्वास्थ्य विभाग में चल रहा सारा खेल बेपर्दा कर दिया।

By Abhishek PandeyEdited By: Published: Tue, 19 Nov 2019 08:02 AM (IST)Updated: Tue, 19 Nov 2019 01:26 PM (IST)
CMO का नाम लेकर ACMO ने झोलाछाप से वसूले 55,000, चौके सीएमओ, बोले- करेंगे जांच Bareilly News
CMO का नाम लेकर ACMO ने झोलाछाप से वसूले 55,000, चौके सीएमओ, बोले- करेंगे जांच Bareilly News

जेएनएन, बरेली : गांवों में झोलाछाप पर रोकथाम क्यों नहीं लग पा रही, इसकी बड़ी वजह सोमवार को सामने आती दिखी। सीएमओ कार्यालय पहुंचे एक झोलाछाप ने स्वास्थ्य विभाग में चल रहा सारा खेल बेपर्दा कर दिया। कहा कि सीएमओ का नाम लेकर उससे 55 हजार रुपये वसूले गए। उसके क्लीनिक पहुंचे एसीएमओ ने मुकदमा दर्ज कराने की धमकी दी। बाद में उनके चालक ने 55 हजार का बंदोबस्त करने को कहा जोकि मैंने दे दिए। जानकारी जब सीएमओ को हुई तो उन्होंने आनन-फानन जांच बैठा दी। एसीएमओ से मेडिकल वेस्ट जांच आदि का छीनने भी छीन लिया है।

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Biomedical Waste Management के बारे में पूछा 

सिरौली के गांव शिवपुरी निवासी बाबूराम गांव में ही बिना डिग्री अवैध रूप से क्लीनिक चला रहा है। उसने आरोप लगाया कि शुक्रवार को एसीएमओ डॉ. अशोक उसके क्लीनिक पर आए थे। खुद को सीएमओ बताकर बॉयोमेडिकल वेस्ट निस्तारण के बारे में पूछा। एफआइआर दर्ज करवाने की धमकी दी। सोमवार दोपहर को सीएमओ डॉ. विनीत शुक्ल से बात करने के दौरान उसने कहा कि मुझसे 55 हजार रुपये ले लिए गए।

ACMO की कार के चालक के रिश्तेदार को दिए थे रुपए 

सीएमओ डॉ. शुक्ल ने पूछा कि रुपये किसने मांगे। इस पर कहने लगा कि एसीएमओ की कार के चालक अजीत तिवारी ने 55 हजार रुपये देने को कहा था। उस वक्त मेरे पास रुपये नहीं थे। चूंकि अजीत के रिश्तेदार शिव कुमार अवस्थी गांव में ही रहते हैं इसलिए मैंने कहा कि अगले दिन रुपये दे दूंगा। शनिवार की सुबह को मैंने पूरे रुपये शिवकुमार को दे दिए ताकि वह अजीत को दे दे।

CMO को पैसे मिले या नहीं, पता करने आया था झोलाछाप 

बाबूराम ने बताया कि वह यह पता करने आया कि शिवकुमार के जरिये अजीत और उसके हाथ से सीएमओ तक रुपये पहुंच गए या नहीं। जब सीएमओ ने कसा कि रुपये क्यों दिए, शिकायत करनी चाहिए थी। इस पर उसने शिकायती पत्र देकर कार्रवाई की मांग की। सीएमओ ने एसीएमओ से मामले की जानकारी नहीं देने का कारण तलब किया है।

गांव में अवैध तरीके से क्लीनिक चलाते मिले झोलाछाप को एडिशनल सीएमओ के तौर पर ही परिचय दिया था। क्लीनिक का बॉयोमेडिकल वेस्ट कूड़े में पड़ा मिला था। रुपये ऐंठने का आरोप गलत है। ड्राइवर भी आरोप निराधार बता रहा है।

-डॉ. अशोक कुमार, एसीएमओ

 एसीएमओ डॉ. अशोक कुमार के पास झोलाछाप का चार्ज नहीं था। प्राथमिक साक्ष्यों के दृष्टिगत निजी चिकित्सकों से संबंधित सभी चार्ज यथा बॉयोमेडिकल वेस्ट, लैब की जांच आदि डॉ. अशोक से मंगलवार को हटा दिए जाएंगे। पूरे मामले की जांच के लिए मामला अपर निदेशक को संदर्भित किया जाएगा।

-डॉ. विनीत शुक्ला, सीएमओ  


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