Air Pollution : बरेली में सड़के छोड़ रही धूल का गुबार, लोग हो रहे परेशान... पढिए ये रिपोर्ट Bareilly News
शहर को स्मार्ट बनाने के प्रयास चल रहे हैं लेकिन कई योजनाओं के कार्य की गति बिल्कुल स्मार्ट नहीं है। जल निगम ने शहर में सीवर लाइन तीन स्थानों पर बिछवा दी है।
जेएनएन, बरेली: शहर को स्मार्ट बनाने के प्रयास चल रहे हैं, लेकिन कई योजनाओं के कार्य की गति बिल्कुल स्मार्ट नहीं है। जल निगम ने शहर में सीवर लाइन तीन स्थानों पर बिछवा दी पर इन सड़कों की स्थिति अब ऐसी है कि बस गुजरिये और धूल के गुबार से जूझते रहिए। सीवर लाइन डाली गई हैं, जिसमें ऊपर से मिट्टी बिछा दी है। यह मिट्टी अब धंसने लगी है साथ ही वाहन भी धंस रहे हैं। वहीं लोगों के गिरने की भी आशंका बनी हुई है। यह स्थिति ठीक होने में कितना समय लगेगा यह अधिकारी भी साफ नहीं कर पा रहे।
काम रुका, धंसने लगे वाहन: जल निगम ने सेंट्रल जोन में ट्रंक सीवर लाइन डालने की शुरुआत ईसाइयों की पुलिया के पास से की थी। वहां करीब ढाई सौ मीटर सीवर लाइन डाली गई, जिसके बाद वन विभाग की आपत्ति के कारण काम रोक दिया गया। खोदी गई सड़क पर जो मिट्टी भरी गई थी, वह अब धंसने लगी है। शुक्रवार को एक नई बस इसमें धंस गई थी। वही लोगों के घायल होने की भी आशंका बनी रहती है। हर वक्त धूल के गुबार उड़ रहे हैं।
बलवंत सिंह मार्ग हुआ खस्ताहाल: जल निगम ने बड़ा डाकखाना के पास स्थित बलवंत सिंह मार्ग में करीब दो महीने पहले खोदाई की। करीब तीन सौ मीटर लंबी सीवर लाइन डाल भी दी है, लेकिन मार्ग खस्ताहाल हो गया है। जगह-जगह मिट्टी धंस गई है। ऊंचे-नीचे मार्ग पर वाहन डोल रहे हैं। गड्ढों के कारण हादसे की आशंका बनी हुई है। कुछ दिन पहले पानी का छिड़काव हो रहा था, जो बंद है। वाहनों के निकलने पर धूल उड़ने से निकलना दूभर हो रहा है।
सुभाषनगर थाने वाली रोड पर भी खोदाई : जल निगम ने सुभाषनगर पुलिया से थाने की ओर भी करीब डेढ़ सौ मीटर सीवर लाइन ही डाली है। फिलहाल वहां काम चल रहा है। लाइन डालने के बाद उसी तरह वहां भी मिट्टी से ढंक दिया गया है। धूल के कारण परेशानी हो रही है। पानी का छिड़काव नहीं कराया जा रहा।
बारिश के बाद ठीक करवाई जाती सड़क : जल निगम के सहायक अभियंता आरसी अग्रवाल के अनुसार नियमानुसार गड्डे को 30-30 सेमी लेयर में पानी डालकर कुटाई करनी चाहिए, लेकिन तुरंत बंद करना होता है। नियम यह है कि सड़क पहले चालू हो जाए और एक बारिश निकल जाए, उसी के बाद सड़क की मरम्मत करते हैं। पक्का करते वक्त मिट्टी को निकालकर नीचे से ही पत्थर, कंक्रीट के साथ पूरी सड़क बनाते हैं।
जब से सड़क खोदी गई है, तभी से धूल से बुरा हाल हो गया है। रास्ते से निकलने में भी परेशानी हो रही है।
राजीव गेरा, सिविल लाइंस
सीवर लाइन डालने के बाद मिट्टी से सड़क ऊंची-नीची हो गई है। कई जगह फिसलने का खतरा है।
रमनदीप, सुभाषनगर
जब भी ईसाइयों की पुलिया वाली रोड से निकलते हैं धूल से हुलिया बदल जाता है। प्रदूषण बढ़ा है। स्वास्थ्य पर भी असर पड़ रहा है।
विश्वजीत, कटरा चांद खां
अपनी जीप ठीक करवाने लाया था। वह भी मिट्टी में धंस गई। इससे वाहनों के गिरने का भी खतरा है।
सलीम, हजियापुर
जहां भी सीवर लाइन डाली गई है। उस पर फिलहाल मिट्टी डाली जा रही है। अभी मिट्टी धंसेगी। पानी का छिड़काव व लीकेज ठीक कराए जा रहे हैं। पक्की मरम्मत करने में अभी वक्त लगेगा।
संजय कुमार, एक्सईएन, जल निगम